Raksha Bandhan 2024: PM मोदी, राष्ट्रपति मुर्मू ने की ‘सौभाग्य’ की कामना, लोगों से ‘महिलाओं की सुरक्षा सुनिश्चित करने’ का किया आग्रह

srashti
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Raksha Bandhan 2024: आज पूरा देश रक्षा बंधन मना रहा है, प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने भाई-बहन के बीच के बंधन का जश्न मनाने वाले इस त्योहार पर साथी नागरिकों को शुभकामनाएं दीं। एक्स पर एक पोस्ट में, पीएम मोदी ने अपनी शुभकामनाएं दीं और आशा व्यक्त की कि यह त्योहार सुख, समृद्धि और सौभाग्य लेकर आएगा।

पीएम मोदी ने एक्स पर लिखा, “भाई-बहन के असीम प्रेम के प्रतीक रक्षाबंधन के त्यौहार पर सभी देशवासियों को हार्दिक शुभकामनाएं। यह पावन पर्व आप सभी के रिश्तों में नई मिठास और जीवन में सुख, समृद्धि और सौभाग्य लेकर आए।”


राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू ने भी राष्ट्रपति के आधिकारिक एक्स हैंडल पर सभी नागरिकों को रक्षा बंधन की शुभकामनाएं दीं।”रक्षाबंधन के पावन अवसर पर मैं सभी देशवासियों को हार्दिक बधाई एवं शुभकामनाएं देता हूं। भाई-बहन के बीच प्रेम और परस्पर विश्वास की भावना पर आधारित यह त्यौहार सभी बहनों और बेटियों के प्रति स्नेह और सम्मान की भावना पैदा करता है।”राष्ट्रपति ने भाइयों और बहनों के बीच आपसी विश्वास और स्नेह पर जोर दिया और सभी से महिलाओं का सम्मान करने और उनकी सुरक्षा सुनिश्चित करने का वचन देने का अनुरोध किया।


राष्ट्रपति मुर्मू ने एक्स पर लिखा, ‘‘मैं चाहूंगा कि इस त्योहार के दिन सभी देशवासी हमारे समाज में महिलाओं की सुरक्षा और सम्मान सुनिश्चित करने का संकल्प लें।’’रविवार शाम 18 अगस्त को राष्ट्रपति मुर्मू ने रक्षा बंधन पर राष्ट्र को संबोधित किया। राष्ट्रपति मुर्मू ने कहा, “रक्षा बंधन के अवसर पर मैं अपने सभी देशवासियों को बधाई देता हूं। रक्षा बंधन बहनों के अपने भाइयों के प्रति प्यार और स्नेह की अभिव्यक्ति है, और यह उनके बीच के अटूट बंधन को दोहराने का अवसर भी है।”

उन्होंने कहा, “रक्षा बंधन सहज प्रेम और पारस्परिकता का प्रतीक है और लोगों को करीब भी लाता है। भाई-बहनों के बीच आपसी विश्वास का यह त्योहार हमारे समाज में सद्भाव और महिलाओं के प्रति सम्मान को बढ़ावा दे।” रक्षाबंधन एक हिंदू त्यौहार है जो भाई-बहन के बीच के बंधन का जश्न मनाता है। इस साल यह त्यौहार सोमवार, 19 अगस्त को मनाया जा रहा है। इस दिन बहनें अपने भाइयों की कलाई पर राखी बांधती हैं और अन्य रस्में निभाती हैं। भाई-बहन एक-दूसरे को उपहार देते हैं और एक-दूसरे की रक्षा करने का वादा करते हैं।