Agniveer Shaheed: ड्यूटी पर अग्निवीर की जान जाने पर परिवार को क्या मिलता है? जानें अग्निपथ स्कीम के नियम

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Agniveer Shaheed: महाराष्ट्र के नासिक स्थित एक आर्मी कैंप में एक बड़ा हादसा हुआ है। यहां प्रशिक्षण के दौरान कुछ सैनिक तोपखाने से फायरिंग का अभ्यास कर रहे थे, जब अचानक एक विस्फोट हुआ। इस घटना में दो दमकलकर्मी गंभीर रूप से घायल हुए और बाद में उनकी मौत हो गई। विस्फोट के बाद पूरे कैंप में अफरा-तफरी मच गई, और अधिकारी इस घटना के सही कारण का पता लगाने की कोशिश कर रहे हैं।

राजनीतिक प्रतिक्रिया

इस घटना पर NCP नेता सुप्रिया सुले ने दुख जताया है। उन्होंने मांग की है कि दोनों जवानों को शहीद का दर्जा दिया जाए और उनके परिवारों को उचित लाभ प्रदान किया जाए। यह स्थिति गंभीर है, खासकर उन परिवारों के लिए जिनका प्रियजन इस तरह की परिस्थितियों में खो गया है।

अग्निपथ योजना का परिचय

अग्निपथ योजना भारतीय सेना में जवानों की भर्ती के लिए 2022 में शुरू की गई थी। इस योजना के तहत सैनिकों को 4 साल के लिए भर्ती किया जाता है, और ऐसे सैनिकों को अग्निवीर कहा जाता है। इस योजना में 17.5 से 21 वर्ष की आयु सीमा निर्धारित की गई है, और इसका उद्देश्य भारतीय सेना, वायु सेना, और नौसेना में सैनिकों की भर्ती करना है।

अग्निवीर का वेतन

अग्निपथ योजना के तहत भर्ती होने वाले अग्निवीरों को पहले वर्ष में 30,000 रुपये मासिक वेतन मिलता है, जिसमें से 21,000 रुपये हाथ में मिलते हैं। प्रत्येक वर्ष वेतन में 10 प्रतिशत की वृद्धि होती है। साथ ही, 30 प्रतिशत राशि सेवा निधि के रूप में काटी जाती है, जो 4 साल की सेवा के बाद दोगुनी होकर एकमुश्त 10 लाख रुपये के रूप में मिलती है।

ड्यूटी के दौरान मृत्यु पर परिवार को मिलने वाला लाभ

यदि किसी अग्निवीर की ड्यूटी के दौरान मृत्यु होती है, तो उसके परिवार को सरकार द्वारा मुआवजा दिया जाता है। सेना की वेबसाइट के अनुसार, इसके तहत 48 लाख रुपये का बीमा कवर, 44 लाख रुपये की अतिरिक्त अनुग्रह राशि, और 4 साल की शेष सेवा के लिए पूरा वेतन मिलता है। साथ ही, सेवा निधि की राशि भी परिवार को प्रदान की जाती है।

विकलांगता की स्थिति में मिलने वाला मुआवजा

अगर कोई अग्निवीर ड्यूटी के दौरान विकलांग हो जाता है, तो उसे विकलांगता के आधार पर मुआवजा दिया जाता है। 100 प्रतिशत विकलांगता पर 44 लाख रुपये, 75 प्रतिशत विकलांगता पर 25 लाख रुपये, और 50 प्रतिशत विकलांगता पर 15 लाख रुपये की अनुग्रह राशि दी जाती है। इसके अलावा, उन्हें 4 साल तक पूरा वेतन और सेवा निधि फंड में जमा राशि भी प्राप्त होती है।

इस प्रकार, अग्निपथ योजना न केवल सैनिकों को रोजगार प्रदान करती है, बल्कि उनके परिवारों को भी सुरक्षा और वित्तीय सहायता का आश्वासन देती है, खासकर जब वे ड्यूटी के दौरान किसी कठिनाई का सामना करते हैं।