कुछ लोगों को सालभर ठंडा खाने की आदत होती है। वह सर्दी में भी ठंडा पानी पीते है और साथ में ठन्डे व्यंजनों का सेवन भी। कुछ लोगों को कपकपाती ठण्ड में आइसक्रीम खाना बेहद पसंद होता है। मगर यह कई तरह की बिमारियों का प्रवेश द्वार बन सकता है। खासतौर पर इससे हार्ट अटैक की समस्या बढ़ सकती है। यह ध्यान रखना महत्वपूर्ण है कि हृदय स्वास्थ्य पर आइसक्रीम का प्रभाव हर व्यक्ति में अलग-अलग हो सकता है।
1. तापमान संवेदनशीलता: आइसक्रीम सहित अत्यधिक ठंडे खाद्य पदार्थ, शरीर के तापमान में तेजी से गिरावट का कारण बन सकते हैं। कोरोनरी धमनी रोग जैसी कुछ स्वास्थ्य स्थितियों वाले व्यक्तियों के लिए, यह अचानक तापमान परिवर्तन संभावित रूप से एनजाइना (सीने में दर्द) या अन्य हृदय संबंधी समस्याओं को ट्रिगर कर सकता है।
2. कैलोरी सामग्री और पोषण: आइसक्रीम में अक्सर कैलोरी, ग्लूकोज और ग्लूकोज अधिक होते हैं। इन पोषक तत्वों से पूर्ण आहार का सेवन वजन बढ़ाना, उच्च कोलेस्ट्रॉल स्तर और हृदय रोग के अन्य जोखिम वाले पोषक तत्वों में योगदान कर सकते हैं। स्वास्थ्य विशेषज्ञ हृदय-स्वस्थ आहार के लिए विस्तृत आहार के रूप में आहार और इसी तरह के व्यंजनों की भारी मात्रा को हतोत्साहित कर सकते हैं।
3. व्यक्तिगत स्वास्थ्य स्थितियाँ: पहले से मौजूद हृदय रोग या अन्य स्वास्थ्य समस्याओं वाले लोगों को अपने आहार के बारे में सतर्क रहने की आवश्यकता हो सकती है, जिसमें उच्च वसा और उच्च चीनी वाले खाद्य पदार्थों का सेवन शामिल है। ऐसे मामलों में, स्वास्थ्य विशेषज्ञ संयम और आहार संबंधी दिशानिर्देशों का पालन करने की सलाह दे सकते हैं।