अगले 24 घंटों में प्रदेश के इन 10 जिलों में आंधी के साथ होगी भारी बारिश, मौसम विभाग ने जारी किया अलर्ट

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प्रदेश में बीते कई दिनों से हो रही मूसलाधार वर्षा का सिलसिला सतत बरक़रार है। दरअसल सितंबर से पुनः प्रारम्भ हुए वर्षा के चरण के चलते प्रदेश में औसत वर्षा का कोटा कबसे पूर्ण हो चुका है। हालांकि प्रदेश के 7 जिले अभी भी मानसून की आस लगाए बैठे हैं। यहां 37 फीसदी तक बेहद न्यून वृष्टि के चलते आमजन की समस्याएँ काफी हद तक बड़ गई हैं। वहीं ये जिले रेड जोन में हैं। दरअसल शुक्रवार और शनिवार को हुई बरखा के चलते भोपाल रेड जोन से बाहर हो गया है। लेकिन अभी भी राजधानी में साधारण से 19 फीसदी बेहद कम बदरा दर्ज की गई है। आपको बता दें कि बीते दो दिनों से भोपाल जिले में सवेरे सवेरे व्यापक वर्षा रिकॉर्ड की गई।

मौसम विभाग की जानकारी

मौसम विशेषज्ञों के मुताबिक मौजूदा समय में झारखंड के समीप एक साइक्लोन वेदर सिस्टम एक्टिव हो गया है। जिसके साथ मानसून द्रोणिका भी प्रदेश से होकर प्रवेश कर रही है। इस वजह से भिन्न-भिन्न जगहों पर बनी इन मौसम प्रणालियों के चलते प्रदेश के कई जिलों में मेघों के छाए रहने का अंदेशा जताया गया हैं। यही वजह हैं कि आसमान बादलों का आवागमन में थोड़े थोड़े अंतराल में जोरदार वर्षा करवा सकता हैं। आज यानी रविवार को भी भोपाल, इंदौर, जबलपुर नर्मदापुरम संभाग के जिलों में छिटपुट स्थानों पर धुआंधार वर्षा की चेतावनी जारी कर दी गई हैं।

कल यानी शनिवार के दिन पूरे समय हरदा, नर्मदापुरम, सिवनी समेत कई जिलों में व्यापक बदरा बरसें। भोपाल में 1.72 इंच, बैतूल में 0.95, शिवपुरी में 0.91 इंच बरसात रिकॉर्ड की गई। इसके अतिरिक्त मलाजखंड, नौगांव, सिवनी, टीकमगढ़, दतिया, रतलाम, खंडवा, खजुराहो, नरसिंहपुर, दमोह, उज्जैन, छिंदवाड़ा और जबलपुर में भी जमकर पानी बरसा।

वहीं आज भी प्रदेश के कई जिलों में मूसलाधार वृष्टि का अंदेशा जताया गया हैं। मौसम कार्यालय ने कई जिलों में तूफानी वर्षा होने का ऑरेंज अलर्ट भी जारी कर दिया हैं। इनमें नर्मदापुरम, सीहोर, छिंदवाड़ा, हरदा, खंडवा और बैतूल आदि जिले भी शामिल हैं। इसके अतिरिक्त कुछ जिलों में सामान्य से लेकर भारी व् वर्षा दर्ज की जा सकती है।

इन जिलों में में बरसात के साथ वज्रपात की चेतावनी

इन जिलों भयंकर वर्षा होने के साथ ही वज्रपात की आशंका जताई गई हैं। शाजापुर, भोपाल, इंदौर, रायसेन, भिंड, खरगोन, बड़वानी, बुरहानपुर, मंडला, डिंडोरी, बालाघाट, देवास, नरसिंहपुर एवं सिवनी जिले भी शामिल हैं। मौसम कार्यालय ने कई जिलों में आंधी तूफ़ान और वज्रपात होने की प्रबल आशंका जताई हैं। मौसम स्पेशलिस्ट के मुताबिक फिलहाल वर्षा का चरण जारी हो, लेकिन 25 सितंबर के बाद से दक्षिण पश्चिम मानसून मध्य प्रदेश से अपनी अंतिम विदाई ले सकता है। इसी के साथ अभी भी 7 जिले रेड जोन में शामिल है। यह हालात मानसून के लिए उचित नहीं माने जाते।