शुन्य बजट पर किसानों को सम्बोधित कर, ये खुशखबरी देने वाले हैं पीएम मोदी

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इंदौर। भारतीय जनता पार्टी किसान मोर्चा प्रदेश उपाध्यक्ष राजेन्द्रसिंह राजपूत, किसान मोर्चा नगर अध्यक्ष मुकेश पंवार, किसान मोर्चा जिला अध्यक्ष घनश्याम पाटीदार, मीडिया प्रभारी देवकीनंदन तिवारी एवं मुकेश जरिया ने भाजपा कार्यालय पर आयोजित पत्रकार-वार्ता में बताया कि कृषि ही मानव जीवन का आधार है। भारतीय जीवन दर्शन कृषि और ऋषि परंपरा को साथ लेकर चलने वाला है, यही हमारी सनातन परंपरा है। चूंकि भारत, कृषि प्रधान देश है। भारतीय कृषि अर्थव्यवस्था ही देश की आर्थिक व्यवस्था का मेरुदण्ड है। किसानों की मेहनत श्रम और पुरुषार्थ के बल पर ही भारत ने खाद्यान्न उत्पादन में आत्मनिर्भरता अर्जित की है। इस परिस्थिति में खेती में बढ़ती हुई लागत को दृष्टिगत रखते हुए, जैविक खेती को बढ़ावा देने के लिये परंपरागत कृषि विकास योजना संचालित करते हुए, शून्य बजट पर प्राकृतिक खेती को लेकर तीन दिवसीय कार्यक्रम का आयोजन दिनांक 14, 15 एवं 16 दिसंबर को गुजरात के आनंद में किया जा रहा है।

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कार्यक्रम को देश के प्रधानमंत्री माननीय नरेंद्र मोदी 16 दिसंबर को संबोधित करेंगे। कार्यक्रम का प्रसारण मंडल स्तर तक किसानों के साथ सुनने के लिए भारतीय जनता पार्टी किसान मोर्चा मध्यप्रदेश के द्वारा कार्य योजना तय की गई है।

जिसके अनुसार मंडल स्तर पर प्राकृतिक खेती करने वाले किसानों को, खेती में नवाचार करने वाले किसानों को, अच्छे पशु पालन करने वाले किसानों को एवं स्थानीय कृषि वैज्ञानिकों को कार्यक्रम में आमंत्रित करते हुए एल ई डी या टी वी के माध्यम से प्रधानमंत्री का उद्बोधन सुनाया जाएगा उनका मार्गदर्शन प्राप्त करेंगे।

समस्त कार्यक्रम का प्रसारण मंडी एवं कृषि विज्ञान केंद्रों पर भी किया जा रहा है। जहां पर पहुंचकर किसान इस कार्यक्रम के माध्यम से प्रेरणा ग्रहण कर खेती में नवाचार की ओर अग्रसर होगें । कार्यक्रम में मंत्री, सांसद, विधायक, पूर्व विधायक, मंडी अध्यक्ष आदि जनप्रतिनिधि अतिथि के रूप में उपस्थित रहेंगे।

कार्यक्रम में प्रधानमंत्री के उदबोधन के पश्चात उपस्थित अतिथियों एवं किसान मोर्चा के पदाधिकारियों के द्वारा केंद्र सरकार एवं राज्य सरकार की योजनाओं को जन जन तक पहुंचाने का कार्य किया जाएगा। वर्तमान में भारत कई मामलों में विश्व में प्रथम, द्वितीय और तृतीय स्थान पर है। प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के नेतृत्व वाला नया भारत एक वैश्विक खाद्य हब के रूप में विश्व पटल पर अपनी उपस्थिति दर्ज करायेगा।

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प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ऐसे पहले प्रधानमंत्री हैं जिन्होंने किसानों को केंद्र में रखकर वर्ष 2024 तक किसानों की आय को दोगुनी करने का जो चुनौतीपूर्ण संकल्प लिया है, जो कि भाजपा की किसानों के प्रति प्रतिबद्धता को सिद्ध करता है। इसे पूरा करने के लिये प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने कृषि क्षेत्र का समग्रता के साथ विकास करने का निर्णय लिया और सिर्फ कृषि ही नहीं अपितु कृषि से संबद्ध अन्य क्षेत्रों जैसे पशुपालन, मछलीपालन, मधुमक्खीपालन, मुर्गीपालन आदि की उन्नति के लिये भी योजनाएं संचालित की जा रही हैं।

प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के नेतृत्व में किसानों के लिये कई ऐतिहासिक निर्णय लिये गये है। कृषि क्षेत्र में किसानों की आय सुनिश्चित करने के लिये, प्रधानमंत्री किसान सम्मान निधि योजना के अंतर्गत किसानों को प्रति वर्ष 6 हजार रुपये देना, प्रधानमंत्री फसल बीमा योजना द्वारा खेती में किसानों की जोखिम को कम करना, किसानों को उनकी फसल लागत के डेढ़ गुना मूल्य पर एमएसपी घोषित करना, एमएसपी पर अधिक मात्रा में फसलों की खरीद करना, दलहनी फसलों की खरीदी कर 20 लाख टन दालों का बंफर स्टॉक तैयार करना, नीम कोटिग यूरिया का वितरण करना, यूरिया उत्पादन में आत्मनिर्भर बनने के लिये कांग्रेस द्वारा बंद की गई यूरिया निर्माण की इकाईयों को पुनर्जीवित करना, हाल ही में अंतर्राष्ट्रीय बाजार में डीएपी उर्वरक के दाम बढ़ने से किसानों को राहत पहुंचाने के लिये अकेले खरीफ 2021 में 15,000 करोड़ रुपये का अनुदान देना, किसान माननिधि योजना (पूर्व में किसान पेंशन योजना) प्रारंभ करना, प्रधानमंत्री कृषि सिंचाई योजना से वर्षों से लबित सिंचाई योजनाओं को पूरा करना, ड्रॉप मोर क्रॉप योजना द्वारा सूक्ष्म सिचाई को बढ़ावा देना,किसानों के उत्पादों को देश के किसी भी कोने में ले जाने के लिये 100 किसान रेलों का संचालन करना, बॉस को पेड़ की सूची से हटाना और बॉस मिशन द्वारा बॉस की खेती को प्रोत्साहित करना, किसानों को अन्नदाता से उर्जादाता बनाने के लिये सोलर पंप योजना संचालित करना।

प्रधानमंत्री किसान सम्मान निधि योजना से अब तक देश के लगभग 11 करोड़ किसानों के बैंक खातों में 1.15 लाख करोड़ रुपये से अधिक की राशि पहुंचाई जा चुकी है। इसके लिये बजट में 65 हजार करोड़ रुपये का प्रावधान किया गया है । किसान क्रेडिट कार्ड पर मिलने वाले ऋण पर ब्याज अनुदान के लिये 19 हजार करोड़ रुपये का प्रावधान किया गया है। प्रधानमंत्री फसल बीमा योजना में खरीफ 2016 से रबी 2020-21 तक कुल पाँच वर्षों में 17,524 करोड़ रुपये किसानों ने प्रीमियम राशि जमा की और मोदी सरकार ने 78.718 करोड़ रुपये अधिक जमा करते हुए किसानों के खातों में 96,242 करोड़ रुपये की राशि जमा कर दी।

मध्यप्रदेश के मुख्यमंत्री शिवराजसिंह चौहान द्वारा विभिन्न किसान हितैषी योजनाओं के माध्यम से विगत 1 वर्ष में 89 हजार करोड़ रुपये से भी अधिक के हितलाभ किसानों को प्रदान किए गए हैं । प्रमुख योजनाएं इस प्रकार 1500 करोड़ रुपये, 9000 करोड़ रुपये मुख्यमंत्री किसान कल्याण योजना, प्रधानमंत्री किसान सम्माननिधि प्रधानमंत्री फसल बीमा योजना, उद्यानिकी फसलों की बीमा राशि का प्रदाय खाद्यान्न उपार्जन की राशि का किसानों के खातों में अंतरण, किसानों को बिजली कनेक्शनों पर अनुदान, किसानों को शून्य ब्याज दर पर ऋण, किसान क्रेडिट कार्ड योजना का क्रियान्वयन, वर्ष 2020 में फसलों के नुकसान एवं कीट व्याधि पर राहत 50,000 करोड़ रुपये, 14000 करोड़ रुपये, 3000 करोड़ रुपये, मछुआ कल्याण एवं क्रेडिट कार्ड योजना के प्रारंभ में अभी तक 78 हजार 628 मछुआरों को मछुआ क्रेडिट कार्ड वितरित किये गये हैं। इसके अलावा 11 हजार 883 किसान क्रेडिट कार्ड भी प्रदान किये गये।

भारतीय जनता पार्टी किसान मोर्चा शून्य बजट पर प्राकृतिक खेती को लेकर तीन दिवसीय कार्यक्रम का आयोजन दिनाँक 14,15,16 दिसंबर को होगा जिसमें प्रधानमंत्री 16 दिसम्बर को संबोधित करेंगे।

कार्यक्रम का सीधा प्रसारण मध्यप्रदेश में भारतीय जनता पार्टी किसान मोर्चा ने 1070 मंडलों पर किसानो के साथ सुनने के लिए योजना बनाई है। केंद्र सरकार, राज्यसरकार की योजना और नवाचारखेती की जानकारी भी देगे।

कार्यक्रम में मध्यप्रदेश की सभी कृषि उपजमंडी कृषि वैज्ञानिक केंद्र और ऐसे स्थान जहाँ पर दोनों नही ,उन स्थानों पर एक एल ई डी या टीवी की व्यवस्था की जायेगी, इंदौर जिले में भी सभी 6 स्थानों पर यह कार्यक्रम किया जायेगा। इस प्रकार का कार्यक्रम पूरे देश में किया जा रहा है। इस कार्यक्रम में अधिक से अधिक किसान बंधु जुड़े यही अपील करते है।