सिनेमा से संरक्षणः इंदौर करेगा पहले ‘वेटलैंड्स फॉर लाइफ’ फिल्म फेस्टिवल और फोरम की मेजबानी

Author Picture
By Meghraj ChouhanPublished On: February 1, 2024

इंदौर में 3 से 5 फरवरी तक ‘वेटलैंड्स फॉर लाइफ फिल्म फेस्टिवल एंड फोरम’ के पहले अध्याय की मेजबानी करने के लिए तैयार है। यह कार्यक्रम सेंटर फॉर मीडिया स्टडीज (सीएमएस) के द्वारा आयोजित किया जा रहा है। आपको बता दें कि इस कार्यक्रम को पर्यावरण, वन और जलवायु परिवर्तन मंत्रालय, भारत सरकार और जर्मन सरकार की संस्था जीआईजेड द्वारा जैव विविधता और जलवायु संरक्षण के लिए वेटलैंड्स प्रबंधन पर बीएमयूवी- आईके आई परियोजना के तहत आयोजित किया जा रहा है।

‘वेटलैंड्स फॉर लाइफ’ कार्यक्रम भारत सरकार के विश्व आर्द्रभूमि दिवस समारोह का एक हिस्सा है। यह इस वर्ष दो फ़रवरी से इंदौर में होना है। इस कार्यक्रम में संपूर्ण भारत से चार फिल्म महोत्सव और प्रतियोगिता, चार मीडिया परामर्श कार्यशालाएं और चार क्षेत्रीय पत्रकारिता और मीडिया छात्रों की कार्यशालाएं आयोजित की जाएँगी। जिसकी शुरुआत इंदौर के फिल्म महोत्सव से होना है।

आपको बता दें कि यह महोत्सव इंदौर प्रेस क्लब और नेचर वालंटियर्स की साझेदारी में तीन से पांच फ़रवरी तक इंदौर प्रेस क्लब ऑडिटोरियम, एमजी रोड, इंदौर में रोजाना सुबह 11 बजे से शाम 5 बजे तक निःशुल्क होगा।

इस फिल्म महोत्सव में आर्द्रभूमि, जल और जलवायु परिवर्तन जैसे महत्वपूर्ण विषयों पर पुरस्कार विजेता राष्ट्रीय और अंतर्राष्ट्रीय फिल्मों की स्क्रीनिंग जाएगी जिनका उद्देश्य हमारे पारिस्थितिकी तंत्र में आर्द्रभूमि के महत्वपूर्ण महत्व को उजागर करते हुए शिक्षित और मनोरंजन करना है। इसके साथ, इस कार्यक्रम में भारतीय फिल्म और टेलीविजन संस्थान (एफटीआईआई) के एक अनुभवी प्रशिक्षक के नेतृत्व में इम्पैक्ट फिल्ममकिंग कार्यशाला का भी आयोजन किया गया है। ये कार्यशाला का आयोजन भविष्य के फिल्म निर्माताओं को प्रभावशाली फिल्में बनाने के कौशल में सशक्त बनाने के लिए की गई हैं।

यह महोत्सव 5 फरवरी को आर्द्रभूमि संरक्षण के क्षेत्र में किए गए उल्लेखनीय योगदान को स्वीकार करने के लिए एक पुरस्कार समारोह के साथ समाप्त होगा। ‘वेटलैंड्स फॉर लाइफ फिल्म फेस्टिवल एंड फोरम’ सभी के लिए खुला है, और हम जनता को इस ज्ञानवर्धक और आकर्षक कार्यक्रम में शामिल होने के लिए हार्दिक रूप से आमंत्रित करते हैं। आइए, मिलकर हम अपनी महत्वपूर्ण आर्द्रभूमियों के संरक्षण में योगदान दें।