महंगाई की बढ़ती मार और आर्थिक दबाव के बीच गुजरात सरकार ने अपने सरकारी कर्मचारियों और पेंशनर्स के लिए नए साल का शानदार तोहफा देने की घोषणा की है। कर्मचारियों की लंबे समय से चली आ रही वेतन वृद्धि की उम्मीदों पर अब पानी फिरने वाला नहीं है, क्योंकि सरकार ने 9 लाख कर्मचारियों और पेंशनभोगियों के लिए अपनी वचनबद्धता का इज़हार किया है। आइए, जानें विस्तार से इस खुशी की खबर पर।
महंगाई भत्ते (DA) में 3% की बढ़ोतरी
गुजरात सरकार ने राज्य के सरकारी कर्मचारियों और पेंशनर्स के महंगाई भत्ते (डीए) में 3% की वृद्धि का फैसला लिया है। अब, कर्मचारियों को महंगाई भत्ता 53% मिलेगा, जो पहले 50% था। इस कदम से कर्मचारियों की जेब में अतिरिक्त पैसा आएगा और उनका जीवनस्तर बेहतर होगा।
महंगाई भत्ते में इस बढ़ोतरी से 9 लाख कर्मचारी और पेंशनर्स को फायदा होगा। इनमें सरकारी स्कूलों के शिक्षक, पंचायत कर्मचारी और अन्य सरकारी विभागों के कर्मचारी शामिल हैं। गुजरात सरकार ने यह निर्णय कर्मचारियों की बढ़ती वित्तीय जरूरतों को ध्यान में रखते हुए लिया है।
एरियर के साथ मिलेगा लाभ
बढ़े हुए डीए के साथ-साथ कर्मचारियों और पेंशनभोगियों को पिछली छमाही (जुलाई से दिसंबर 2024) के एरियर का भी भुगतान किया जाएगा। इस राशि में 3% का अतिरिक्त बोनस महंगाई भत्ता शामिल होगा, जो उन्हें 2025 में मिलने की संभावना है। यह कदम कर्मचारियों के लिए बेहद राहतकारी है, क्योंकि एरियर के रूप में उन्हें पिछली रकम का लाभ मिलेगा।
ग्रेच्युटी में 25% की वृद्धि
गुजरात सरकार ने सरकारी कर्मचारियों के रिटायरमेंट के समय मिलने वाली ग्रेच्युटी राशि में भी 25% की वृद्धि की है। पहले रिटायरमेंट पर कर्मचारियों को 20 लाख रुपये मिलते थे, जो अब बढ़ाकर 25 लाख रुपये कर दिए गए हैं। इस बढ़ोतरी से कर्मचारियों को रिटायरमेंट के बाद आर्थिक सुरक्षा मिलेगी, और उनके परिवार की वित्तीय स्थिति मजबूत होगी।
मुख्यमंत्री भूपेंद्र पटेल ने यह कदम कर्मचारियों को बेहतर वित्तीय सुरक्षा और लाभ देने के उद्देश्य से उठाया है, जिससे उनके जीवनस्तर में सुधार हो सके। गुजरात सरकार का यह फैसला कर्मचारियों के आर्थिक उत्थान को ध्यान में रखते हुए लिया गया है। बढ़ती महंगाई के मद्देनजर कर्मचारियों के वेतन और पेंशन में वृद्धि से उन्हें रोज़मर्रा की ज़िन्दगी में अधिक सहूलियत होगी। साथ ही, ग्रेच्युटी में वृद्धि से उनके रिटायरमेंट के बाद की जीवनशैली और भी बेहतर होगी।
9 लाख लोग होंगे लाभान्वित
यह निर्णय राज्य के लगभग 9 लाख सरकारी कर्मचारियों और पेंशनर्स को सीधे तौर पर प्रभावित करेगा। इनमें से अधिकांश कर्मचारी शिक्षक, पंचायत कर्मचारी, सरकारी दफ्तरों के कर्मचारी और अन्य सार्वजनिक क्षेत्र के कर्मचारी हैं।