छिंदवाड़ा : छिंदवाड़ा जिले के चांदामेटा में रहने वाले संदीप डेहरिया एक साधारण चाय की दुकान चलाते हैं। जीवन की मुश्किलों के बीच भी उन्होंने अपनी बेटी निशा को शिक्षा दी और आज निशा ने अपने सपनों को उड़ान भरते हुए एमपी-पीएससी परीक्षा में सफलता हासिल कर डीएसपी बनने का गौरव प्राप्त किया है। निशा वर्तमान में छिंदवाड़ा कलेक्ट्रेट में कार्यरत थीं, और अब वे इस नए मुकाम पर देश की सेवा करेंगी।
संदीप डेहरिया की कम शैक्षणिक योग्यता होने के बावजूद, उन्होंने अपनी बेटियों को बेहतर शिक्षा देने का दृढ़ संकल्प लिया। निशा उनकी बड़ी बेटी हैं और उन्होंने अपनी मेहनत और लगन से पहले पटवारी और फिर सांख्यिकी विभाग में चयन हासिल किया। इस बार उन्होंने डीएसपी बनकर अपनी प्रतिभा का लोहा मनवा दिया।
बचपन से ही था पुलिस अधिकारी बनने का सपना:
निशा ने बताया कि बचपन से ही उनका सपना पुलिस अधिकारी बनने का था। उन्होंने कड़ी मेहनत और लगन से अपनी शिक्षा पूरी की और विभिन्न प्रतियोगी परीक्षाओं में भाग लिया। पिता के संघर्ष और प्रेरणा ने उन्हें आगे बढ़ने का हौसला दिया और आज वे अपनी मंजिल तक पहुंच चुकी हैं।
प्रेरणा का स्रोत:
निशा डेहरिया की कहानी उन सभी के लिए प्रेरणा का स्रोत है जो कठिन परिस्थितियों में भी हार नहीं मानते। उनकी सफलता यह दर्शाती है कि यदि आप दृढ़ संकल्प रखते हैं और कड़ी मेहनत करते हैं तो आप अपने सपनों को अवश्य प्राप्त कर सकते हैं।