मध्य प्रदेश सरकार ने कारम बांध बनाने वाली दोनों कंपनियों एएनएस कंस्ट्रक्शन और सारथी कंस्ट्रक्शन को ब्लैक लिस्टेड कर दिया है। साथ ही दोनों के लाइसेंस भी सस्पेंड कर दिए है। बता दें विपक्ष ने सरकार पर बांध निर्माण में भ्रष्टाचार के आरोप लगाए थे।
जल संसाधन विभाग इंदौर नर्मदा ताप्ती कछार के मुख्य अभियंता सीएस घटोले की तरफ से जारी आदेश में बताया गया कि 10 अगस्त 2018 को एनएनएस कंस्ट्रक्शन नई दिल्ली को बांध निर्माण का ठेका दिया गया था। इस ठेके में 50% कार्य करने की अनुमति मेसर्स सारथी कन्स्ट्रक्शन ग्वालियर को कार्यपालन यत्री ने प्रदान की थी। इसमें आगे कहा गया कि कार्यपालन यंत्री जल संसाधन संभाग क्रमांक-1 धार द्वारा समय समय पर जारी सूचना पत्रों, साइट ऑर्डर बुक एवं समय-समय पर अन्य दिए गए मौखिक निर्देशों के बावजूद भी कार्य को अनुबंध अनुसार निर्धारित समय एवं समुचित तरीके से नहीं किया गया।
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जिसके कारण निर्माणाधीन बांध में वर्षा का पानी भरने से 11 अगस्त को रिसाव शुरू हुआ हो गया था। 12 अगस्त को बांध के इम्बैंकमेंट स्लिप होना शुरू हो गए थे। इस संकट की स्थिति को टालने के लिए 18 ग्रामों को खाली करवाने एवं ग्रामीणों के पशुधन एवं जान-माल की सुरक्षा के लिए एसडीआरएफ एवं एनडीआरएफ की टीमों को बुलवाना पड़ा एवं पूरी प्रशासनीक टीम लगाकर बांध के किनारे से कट लगाकर बांध को पूरा खाली करना पड़ा।
बता दें इस मामले में सरकार ने एक जांच कमेटी भी बनाई है। जिसको पांच दिन में अपनी रिपोर्ट जमा करने को कहा है। वहीं, विपक्ष सरकार पर लगातर हमलावर है। विपक्ष सरकार पर भ्रष्टाचार का आरोप लगा रहा है।