पीड़ितों को मिला इंसाफ, मिशन को मिला नाम ‘सिंदूर’, आखिर किसने सुझाया ये नाम?

भारत ने पहलगाम आतंकी हमले के जवाब में पाकिस्तान और PoK में ऑपरेशन सिंदूर के तहत बड़ी सैन्य कार्रवाई की, जिसमें 100 से ज्यादा आतंकवादी मारे गए।

Srashti Bisen
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Operation Sindoor : मंगलवार देर रात भारत ने पाकिस्तान और पाकिस्तान अधिकृत कश्मीर (PoK) में एक संगठित और निर्णायक जवाबी कार्रवाई की। इस संयुक्त सैन्य ऑपरेशन में थलसेना, वायुसेना और नौसेना ने एक साथ मोर्चा संभालते हुए 9 आतंकवादी ठिकानों को पूरी तरह तबाह कर दिया।

इस हमले में 100 से अधिक आतंकियों के मारे जाने की खबर है। इस रणनीतिक कार्रवाई को ‘ऑपरेशन सिंदूर’ नाम दिया गया है, जिसे प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की सलाह पर अंजाम दिया गया। बताया जा रहा है कि पीएम मोदी स्वयं इस पूरे अभियान की निगरानी कर रहे थे।

पहलगाम के पीड़ितों को मिला न्याय (Operation Sindoor)

22 अप्रैल को जम्मू-कश्मीर के पहलगाम इलाके में हुए क्रूर आतंकी हमले में 26 निर्दोष नागरिकों की जान गई थी। आतंकियों ने लोगों से उनका नाम और धर्म पूछकर निशाना बनाया था। इस भयावह हमले में मारे गए अधिकतर लोग पर्यटक थे और विशेष रूप से पुरुषों को निशाना बनाया गया था। इस हमले के बाद पूरे देश में आक्रोश फैल गया था और भारत ने निर्णायक कदम उठाने का मन बना लिया था।

पाकिस्तान के खिलाफ कड़े कदम

इस सैन्य कार्रवाई से पहले भारत ने पाकिस्तान को कूटनीतिक और रणनीतिक स्तर पर घेरने की शुरुआत कर दी थी। सबसे पहले सिंधु जल समझौते को रद्द कर दिया गया। साथ ही, राजनयिक संबंधों में कटौती और व्यापार तथा डाक सेवाओं को बंद करने जैसे सख्त फैसले लिए गए। इन कदमों को भारत की तरफ से आने वाले बड़े एक्शन का संकेत माना जा रहा था।

करीब रात 1 बजे भारतीय सेनाओं ने एक साथ मोर्चा खोलते हुए पाकिस्तान और पीओके के आतंकी अड्डों पर हमला किया। यह हमला बेहद सुनियोजित तरीके से चलाया गया जिसमें उच्च-स्तरीय खुफिया जानकारी और तकनीकी संसाधनों का इस्तेमाल हुआ। इस कार्रवाई के बाद सीमा पर तनाव की स्थिति बनी हुई है और रक्षा मंत्रालय पूरी स्थिति पर लगातार नजर बनाए हुए है।

पीएम मोदी का कड़ा संदेश

पहलगाम की घटना के बाद प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी बेहद नाराज थे। उन्होंने राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार (NSA) अजीत डोभाल और तीनों सेनाओं के प्रमुखों के साथ कई अहम बैठकों में भाग लिया। सूत्रों के मुताबिक पीएम ने सेनाओं को खुली छूट दे दी थी कि वे आतंकवाद के खिलाफ निर्णायक कार्रवाई करें।

बिहार के मधुबनी में एक रैली को संबोधित करते हुए प्रधानमंत्री ने आतंकियों को चेतावनी देते हुए कहा था, “इस बार ऐसा जवाब मिलेगा जिसकी उन्होंने कल्पना भी नहीं की होगी। उन्हें मिट्टी में मिला दिया जाएगा।” और अब यह ऑपरेशन उसी चेतावनी की गूंज के रूप में सामने आया है।