प्रदेश के मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव आज भोपाल में ‘भारतीय ज्ञान परंपरा-विविध संदर्भ’ वर्कशॉप में शामिल हुए। यह वर्कशॉप भोपाल की शासकीय सरोजिनी नायडू गर्ल्स (नूतन) कॉलेज में राष्ट्रीय शिक्षा नीति – 2020 के तहत आयोजन किया गया है। यह वर्कशॉप कुल दो दिन तक चलेगी।
‘हमारे यहां गुलामी का लंबा दौर निकल गया’
इस वर्कशॉप में मुख्यमंत्री मोहन यादव ने कहा कि ज्ञान को किसी सीमा में बांधा नहीं जा सकता है। ऋग्वेद में कहा गया है कि जहां से भी ज्ञान मिले, उसे ग्रहण कर लेना चाहिए। सीएम ने कहा, ‘हमारे यहां गुलामी का लंबा दौर निकल गया। बाहरी शक्तियों ने हम पर अपनी संस्कृति थोपने का प्रयास किया। यह भारत की ही विशेषता है कि हमने अपनी संस्कृति और ज्ञान परंपरा को अक्षुण्ण रखा है। यह हमारा सौभाग्य है। भारत न कभी दबा, न कभी दबेगा।’
‘उच्च शिक्षा विभाग सबसे पहले रहेगा’
सीएम ने उच्च शिक्षा विभाग को लेकर कहा कि हमारी सरकार उच्च शिक्षा विभाग को लेकर चिंतित है। बाकी विभागों से उच्च शिक्षा विभाग सबसे पहले रहेगा, इसमें कोई शंका नहीं। बाकी विभाग आज की बात करेंगे, लेकिन उच्च शिक्षा विभाग कल की बात करेगा।
‘सिकंदर महान नहीं’
इस कार्यक्रम में प्रदेश के उच्च शिक्षा मंत्री इंदर सिंह परमार भी शामिल हुए है। उन्होंने कहा, ‘इतिहास में एक लुटेरे को महान लिख दिया गया। जो लुटेरा भारत को जीत नहीं सका, वो विश्व विजेता कैसे हो सकता है? जो पोरस से दो – दो बार पराजित हुआ, चंद्रगुप्त मौर्य से लड़ नहीं सका, लेकिन इतिहास के पन्नों में दर्ज किया गया कि जो जीता वही सिकंदर, विश्व विजेता सिकंदर। यह गलत इतिहास पढ़ाने की परंपरा है।’