वो कहते है न कि मन में सच्ची आस्था और भगवान के प्रति दृंढ विश्वास हो तो इंसान मौत से भी लड़कर आ सकता है लेकिन जब महाकाल के भक्तों की बात हो तो फिर अकाल मृत्यु वो मरे जो कार्य करे चांडाल का काल उसका क्या करे जो भक्त हो महाकाल का बस यही श्लोक चरितार्थ हुए है वडोदरा के एक भट के साथ बाबा महाकाल ने एक पिता की मन्नत के बाद मात्र साढे़ 3 महीने में बेटी का कैंसर खत्म कर दिया। बेटी का पिता वडोदरा से उज्जैन पैदल महाकाल दर्शन करने पहुंचा ।
वडोदरा में फेब्रिकेशन का काम करने वाले महेंद्र पटेल नामक इस व्यक्ति ने बताया कि उसकी बेटी को कैंसर था। उन्होंने भगवान महाकाल और भगवान राम से प्रार्थना की थी कि यदि बेटी का कैंसर ठीक हो जाता है तो वह वड़ोदरा से उज्जैन और अयोध्या तक पैदल यात्रा करेंगे ।मात्र साढ़े तीन माह में कैंसर खत्म हो गया। मन्नत के अनुसार महेंद्र पटेल बड़ोदरा से पैदल यात्रा पर निकल गए। यात्रा के 11 दिन में वह उज्जैन पहुंचे। बाबा महाकाल के दर्शन किए और अयोध्या के लिए रवाना हो गए। महेंद्र पटेल को पैदल चलने की आदत नहीं है इसके बाद भी वह 30 से 35 किलोमीटर प्रतिदिन चल रहे हैं। उनके साथ उनका एक मित्र कार लेकर साथ में चल रहा है कार में खान-पान की सामग्री साथ में रहती है ।