Indore मेट्रो रूट पर बड़ा अपडेट, अब 12 किमी तक बनेगा अंडरग्राउंड ट्रैक, बढ़ेगी एक हजार करोड़ की लागत

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By Abhishek SinghPublished On: November 5, 2025

इंदौर मेट्रो प्रोजेक्ट की डिजाइन तय हो जाने और कार्य प्रारंभ होने के बाद अब मध्य हिस्से के अंडरग्राउंड रूट में संशोधन की तैयारी की जा रही है। इस बदलाव के चलते परियोजना की रफ्तार धीमी पड़ने के साथ-साथ लागत में भी बढ़ोतरी की संभावना है।



शहर के विकास से जुड़ी सोमवार को हुई बैठक में निर्णय लिया गया कि मेट्रो ट्रेन का अंडरग्राउंड रूट खजराना क्षेत्र से ही शुरू किया जाएगा। पहले इंदौर मेट्रो का भूमिगत हिस्सा 8.7 किलोमीटर तय था, लेकिन प्रस्तावित बदलाव के बाद यह दूरी बढ़कर 12 किलोमीटर तक हो सकती है।

बढ़ी लागत, लेकिन प्रक्रिया होगी लंबी

मंत्री विजयवर्गीय ने यह तो स्पष्ट किया कि रूट में किए जाने वाले बदलाव से बढ़ने वाली लागत की व्यवस्था की जाएगी, लेकिन इस परिवर्तन से मेट्रो की डिजाइन में बड़े स्तर पर संशोधन करना पड़ेगा। साथ ही, कई स्टेशनों की रूपरेखा भी बदलनी होगी। उल्लेखनीय है कि केंद्र सरकार पहले ही स्टेशनों का नोटिफिकेशन जारी कर चुकी है और प्रशासन ने आवश्यकतानुसार भूमि आवंटित कर दी है। रूट में बदलाव के बाद पुनः सर्वे किया जाएगा, नई डिजाइन तैयार होगी, जिसके पश्चात कैबिनेट की स्वीकृति और फिर केंद्र सरकार की मंजूरी ली जाएगी। इसके बाद ही कार्य दोबारा प्रारंभ हो सकेगा।

31 किलोमीटर लंबे रूट से एयरपोर्ट तक पहुंचेगी मेट्रो

  • इंदौर मेट्रो का रूट लगभग 31 किलोमीटर लंबा निर्धारित किया गया है। यह सुपर कॉरिडोर से होते हुए रिंग रोड, एमजी रोड और एरोड्रम रोड के मार्ग से एयरपोर्ट तक पहुंचेगी।
  • इंदौर मेट्रो एयरपोर्ट, दो बस स्टैंड और रेलवे स्टेशन को आपस में जोड़ेगी, जिससे शहर के मध्य क्षेत्र में ट्रैफिक दबाव कम होने में मदद मिलेगी।
  • मेट्रो ट्रेन हर 30 मिनट के अंतराल पर संचालित होगी। कुल 28 स्टेशनों की योजना बनाई गई है, जिनमें से 15 स्थानों पर निर्माण कार्य प्रगति पर है। किराया 20 से 80 रुपये के बीच रहेगा। मेट्रो रूट को किराया निर्धारण के लिए पांच जोन में विभाजित किया गया है।
  • मेट्रो ट्रेन का संचालन प्रतिदिन सुबह 8 बजे से रात 8 बजे तक किया जाएगा। शुरुआती चरण में मेट्रो सेवा केवल 7 किलोमीटर के हिस्से में शुरू की जाएगी, जहां अधिकतम किराया 30 रुपये तय किया गया है।
  • कुल 20 से अधिक मेट्रो ट्रेनों का संचालन प्रस्तावित है। प्रत्येक ट्रेन में लगभग 450 यात्री यात्रा कर सकेंगे, जिनमें बैठने के साथ खड़े होकर सफर करने की भी पर्याप्त सुविधा होगी।

1 हजार करोड़ का अतिरिक्त बोझ

मेट्रो ट्रैक की योजना में किए जा रहे बदलाव के चलते परियोजना पर अब लगभग एक हजार करोड़ रुपये का अतिरिक्त खर्च आएगा। फिलहाल मेट्रो प्रोजेक्ट की अनुमानित लागत 15 हजार करोड़ रुपये है, जो संशोधन के बाद और बढ़ जाएगी। इसके साथ ही परियोजना के पूरा होने में देरी की संभावना भी बढ़ गई है। अंडरग्राउंड हिस्से के लिए अलग से मिट्टी और अन्य तकनीकी परीक्षण किए जाएंगे। बंगाली चौराहा क्षेत्र से मेट्रो को भूमिगत किया जाएगा, जहां की पथरीली भूमि निर्माण कार्य को और समयसाध्य बना सकती है।