पुडुचेरी: किरण बेदी को आज कौन नहीं जनता? देश की पहले महिला IPS अफसर जिसने न केवल देश का नाम रोशन किया बल्कि सबको बताया की महिला की किसी से काम नहीं होती है। साथ ही महिलाओं को अपने हक़ के लिए लड़ना भी सिखाया। वहीं किरण बेदी अभी पुडुचेरी के एलजी के पोस्ट पर थी। लेकिन उन्हें कल यानि मंगलवार को उपराज्यपाल के पद से हटा दिया गया।
आपको बता दे कि, किरण बेदी लगभग 100 दिन के बाद रिटायर होने वाली थीं। लेकिन इस बीच एक बड़े घटनाक्रम में राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद ने उन्हें उपराज्यपाल के पद से हटा दिया। किरण बेदी ने 29 मई 2016 को पुडुचेरी के उपराज्यपाल की शपथ ली थी, इस हिसाब से 29 मई 2021 को उनका कार्यकाल पूरा होने वाला था।
ज्ञात हो की भारत का संविधान कहता है कि एलजी की नियुक्ति भले ही राष्ट्रपति 5 साल के लिए करते हैं, लेकिन एलजी अपने पद पर तभी तक बने रह सकते/सकती हैं, जब तक कि उसे राष्ट्रपति का विश्वास हासिल है।
आपको बता दे कि, किरण बेदी 1972 में यूपीएससी की परीक्षा पास कर आईपीएस के लिए सेलेक्ट हुई थीं। आईपीएस बनने के बाद किरण बेदी का सामना एक दिन ऐसे सीनियर से हुआ जिन्होंने उन्हें छोकरी कहकर पुकारा। किरण बेदी पहले तो ये सुनकर चौंकी, लेकिन उन्होंने तुरंत अपने आप को संभालते हुए इस ऑफिसर को कहा कि, “सर मेरा एक नाम है जिसे दुनिया किरण नाम से जानती है।” किरण के जवाब में कॉफिडेंस देखकर इस ऑफिसर को सांप सूंघ गया।
गौरतलब है कि, पुडुचेरी की कांग्रेस सरकार और किरण बेदी में लंबे समय से टकराव चल रहा था। वहीं किरण बेदी को हटाए जाने पर पुडुचेरी के मुख्यमंत्री वी नारायणस्वामी ने कहा है कि यह हमारे दबाव के कारण भारत सरकार ने उन्हें हटाया है। यह पुडुचेरी के लोगों की बड़ी जीत है। उन्होंने कल्याणकारी योजनाओं को रोकने की कोशिश की।