भोपाल, 26 अक्टूबर: मध्य प्रदेश में आगामी विधानसभा चुनाव के चलते आदर्श आचार संहिता लागू है, और इसके तहत जांच एजेंसियां कड़ाई से कार्रवाई कर रही हैं। राज्य के जिलों की सीमाओं पर चेकिंग की जा रही है, ताकि चुनावों में नकली माल और अवैध गतिविधियों से बचा जा सके। इस चुनावी सीजन में अनोखा माहौल है, क्योंकि चुनावी त्यौहारों के कारण लाखों के माल और सोना-चांदी के व्यापार पर भी नजर रखी जा रही है। तथापि, इसके बावजूद, कड़ी चेकिंग के चलते ऐसा माल पकड़ा जा रहा है।
एजेंसियों की सख्ती और पकड़े गए धन
चुनाव आयोग के आदेश के पश्चात् चुनावी वर्ष में जांच एजेंसियों ने सख्ती से तहकीकात शुरू कर दी है, जिससे चुनावों में किसी भी प्रकार की अवैध गतिविधियों का पता लगा सके और चुनाव बिना खरीद-फरोख्त के साम्पूर्ण हो सके। एजेंसियों ने अब तक कई गतिविधियों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई की है और इसमें करोड़ों रुपए के नकद पकड़े गए हैं। ये नकदी बस में बैग में, कार में और बसों में भरकर ले जा रहे थे।
ये एजेंसियां अवैध शराब, गहनों, और अन्य लक्जरी आइटमों के साथ ही ब्रांडेड घड़ियां और कपड़े भी पकड़ चुकी हैं, जो मतदाताओं को उपहार के रूप में बांटे जा सकते थे। इन पकड़े गए सामानों की मूल्यांकन बहुत अधिक है, और इससे उनकी वाणिज्यिक मूल्य को भी प्रभावित किया गया है। जानकारी के अनुसार इन एजेंसियों ने बीते 4 दिन में 43 करोड़ की नगद रकम और ज्वेलरी जप्त की है।
इस चुनावी माहौल में, आचार संहिता और जांच एजेंसियों के सख्त कार्रवाई के साथ, चुनाव निष्क्रिय होने के खिलाफ किसी भी प्रकार की साजिशों को रोकने का प्रयास किया जा रहा है। यह सुनिश्चित करने के लिए है कि चुनाव निष्क्रिय होने के बावजूद, विधायकों और पार्टियों के द्वारा किसी प्रकार की गड़बड़ी नहीं की जा सके। सूत्रों की माने तो जांच एजेंसियों अब तक14 करोड़ 77 लाख 26 हजार 300 रुपए का कैश जप्त किया है।