इंदौर : जिले में भू-माफियाओं तथा शासकीय और अन्य जमीनों पर अवैध कब्जा करने वाले दबंगों के विरूद्ध कलेक्टर डॉ. इलैयाराजा टी के निर्देशन में प्रभावी कार्रवाई की जा रही है। इसी सिलसिले में शासकीय भूमि ग्राम बांगड़दा सर्वे नंबर 332 रकबा 4.440 हेक्टेयर एवं अन्य शासकीय भूमि को अवैध रुप से विक्रय करने के मामले में जाँच पश्चात थाना एरोड्रम में 12 आरोपियों के विरूद्ध एफआईआर दर्ज कराई गई है।
कलेक्टर डॉ. इलैयाराजा टी के निर्देशन में जिला प्रशासन, नगर निगम इंदौर एवं डीसीपी अदित्य मिश्रा के निर्देश पर पुलिस विभाग द्वारा 29 सितंबर 2022 तथा 8 जून 2023 से लगातार अतिक्रमण हटाने की कार्यवाही के दौरान लगभग 18 मकान, निर्माणाधीन मकान एवं शासकीय भूमि पर काटे गए प्लाट का अतिक्रमण हटाया गया । जिससे शासन की लगभग एक हेक्टेयर भूमि जिसका मूल्य लगभग 8 करोड़ 60 लाख रूपये है, भू-माफियाओं से मुक्त कराई गई है। अवैध रूप से शासकीय भूमि विक्रय करने के मामले में दलालों, विक्रेताओं एवं षडयंत्र में शामिल अन्य लोगों के खिलाफ पुलिस थाना एरोड्रम में अपराध क्रमांक 389/2023 धारा 420, 467, 468, 471, 120 बी भारतीय दण्ड विधान की धाराओं के तहत कुल 12 आरोपियों के विरूद्ध एफआईआर दर्ज की गई है।
जिन आरोपियों के विरूद्ध एफआईआर दर्ज की गई है उनमें जफर पिता अब्दुल,नितिन पिता मनोहरलाल जायसवाल, हासम पिता कासम खां, अजमेरी खान पिता कासम खान, पुरषोत्तम पिता छोटेलाल शर्मा, माधव पिता गिरधारी लाल, केशव उर्फ़ मामा तिवारी, रूपेश कुमार पिता सुरेश चंद पिंगले, मनोज जायसवाल, पूजा जाट, विशाल उर्फ़ काकू तथा अनिल खेची आदि शामिल है।
बताया गया कि शासकीय भूमियों को सुरक्षित करने के लिए पूर्व में नगर निगम द्वारा दीवारों पर सूचना लिख कर पेंटिंग करवाई गई थी कि यह शासकीय भूमि है इसकी खरीदी बिक्री नहीं की जाये। भू-माफियाओं के हौसले इतने बुलंद हो गए कि उन्होंने दीवारों पर लिखी सूचना मिटा दी गयी। प्रशासन ने अब भूमि के चारो और तथा गलियों में पेंटिंग करके अनेकों स्थानों पर शासकीय भूमि की सूचना लिखवाई गई है। इसके साथ ही लौहे के बोर्ड भी लगाकर सूचना लिखी गई है एवं अधिकारियों, एसडीएम व तहसीलदार आदि के नंबर लिखे गये हैं।