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कोरोना कहर के बीच अब ‘वैक्सीन राष्ट्रवाद’ का खतरा…
अजय बोकिल दुनिया में सैनिक, आर्थिक और सांस्कृतिक राष्ट्रवाद के अब स्वास्थ्य अथवा ‘वैक्सीन राष्ट्रवाद’ के खतरों पर बहस छिड़ गई है। विश्व स्वास्थ्य संगठन ( डब्लूएचअो) की मुख्यर वैज्ञानिक
सात दिन सात पुस्तकें : नेपोलियन, उसकी पराजय कहावत बन गई
दिलीप गुप्ते दुनिया को अपनी बहादुरी से प्रभावित करने वाले नेपोलियन बोनापार्ट के जीवन का अधिकांश भाग लड़ाइयों के मैदानों में बीता. उसका जन्म १५ अगस्त १७६९ को कोर्सिका के
सात दिन सात पुस्तकें: एसडी बर्मन, सुरों की मिठास और अवॉर्ड की कड़वाहट
दिलीप गुप्ते इस बार मेरे सामने संगीतकार सचिन देव बर्मन पर लिखी गई प्रामाणिक पुस्तक है. पुस्तक में लेखक द्वय अनिरुद्ध भट्टाचार्य और बालाजी विट्टल ने पुस्तक में संगीतकार के
9 अगस्त वनवासी संस्कृति में ही गड़ी है हमारी गर्भनाल!
विमर्श/जयराम शुक्ल रामायण कथा वनवासियों के पराक्रम और अतुल्य सामर्थ्य की कथा है, जिसमें उन्होंने राम के नेतृत्व में पूंजीवाद, आतंकवाद के पोषक साम्राज्यवादी रावण को पराजित कर सोने की
विचारों का अनुलोम विलोम
प्रदीप शर्मा हमारी सांसों में हमारे प्राण बसे हैं और जब तक इस शरीर में प्राण है,सांस चलती रहती है । सांस का चलना और विचारों का आना जाना एक
उप चुनाव : दांव पर दिग्गजों का राजनीतिक भविष्य
दिनेश निगम ‘त्यागी’ प्रदेश में संभवत: पहली बार एक साथ 27 विधानसभा सीटों के लिए उप चुनाव होंगे। ये उप चुनाव इस मायने में महत्वपूर्ण हैं कि इनके नतीजे भाजपा-कांग्रेस
अयोध्या में लगे पारिजात पौधे का महत्व
आइए जानते हैं… दिव्य (पौधे) वृक्ष पारिजात के बारे में जिसे प्रधानमंत्री ने अयोध्या में रामलला मंदिर भूमि-पूजन से पहले अयोध्या की पावन भूमि पर लगाया.. भगवान रामजी से इस
तीस साल बाद भी क्यों हैं पिछड़े अपने वाजिब हक-हुकूक से वंचित ?
वर्ष 1990 में मंडल आयोग की अनुशंसाओं को आंशिक तौर पर ही लागू किया गया। क्रीमीलेयर के प्रावधान और पदोन्नति में आरक्षण नहीं दिए जाने के कारण ओबीसी की समुचित
संदर्भ-मूलनिवासी दिवस.9 अगस्तवनवासी संस्कृति में ही गड़ी है हमारी गर्भनाल!
जयराम शुक्ल “रामायण कथा वनवासियों के पराक्रम और अतुल्य सामर्थ्य की कथा है, जिसमें उन्होंने राम के नेतृत्व में पूंजीवाद, आतंकवाद के पोषक साम्राज्यवादी रावण को पराजित कर सोने की
नई शिक्षा नीति और सामाजिक सोच में कितना तालमेल है ?
अजय बोकिल प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने नई राष्ट्रीय शिक्षा नीति के संदर्भ में कहा कि ये शिक्षा नीति सभी के परामर्श से तैयार की गई है। यह कोई सर्कुलर नहीं
छ: सौ अरब बनाम पांच रूपये रोज
अनिल त्रिवेदी साठ से सत्तर के दशक में देश की लोकसभा में पहुंचे, भारत की आजादी तथा समाजवादी आन्दोलन के नेता डा.राममनोहर लोहिया ने लोक सभा में सवाल उठाया था,
राजेंद्र माथुर पत्रकारिता के पुरोधा कैसे बन गए थे
अर्जुन राठौर देश के जाने-माने पत्रकार स्वर्गीय श्री राजेंद्र माथुर जी का आज जन्म दिवस है और इस मौके पर उन्हें याद करना लाजमी है राजेंद्र माथुर से जुड़ी हुई
मोतीलाल के बाद यदि कोई सहज अभिनेता हुआ है तो वे हैं बलराज साहनी
प्रसिद्ध फिल्म लेखक दिलीप गुप्ते की कलम से अभिनय को अभिनय न मान कर आपसी बातचीत मानने वालों में हमारे सामने बलराज साहनी आ जाते हैं. मोतीलाल के बाद यदि
जम्मू कश्मीर के उप राज्यपाल के रूप में उनके सामने बड़ी और कठिन राजनीतिक चुनौतियां हैं
वरिष्ठ पत्रकार जयशंकर गुप्त हमारे काशी विश्वविद्यालय (बीएचयू) छात्र संघ के अध्यक्ष रहे भाजपा के वरिष्ठ नेता, पूर्व केंद्रीय मंत्री, मनोज सिन्हां को जम्मू-कश्मीर का उप राज्यपाल बनने की बधाई.
अयोध्या के अध्याय की पूर्णाहुति! अब आगे क्या ?
-श्रवण गर्ग पाँच अगस्त दो हज़ार बीस को सम्पूर्ण देश(और विश्व) के असंख्य नागरिकों ने भगवान राम के जिस चिर-प्रतीक्षित स्वरूप के अयोध्या में दर्शन कर लिए उसके बाद हमें
ज्ञान कर्म के मेलजोल से संतुलन आवेगा
अनिल त्रिवेदी संत विनोबा भावे कहते थे वर्तमान शिक्षा यानी पढ़ना लिखना और कुर्सी पर बैठकर हुक्म चलाना।पढ़ना सीखने का मतलब काम छोड़ना।पढ़े-लिखे लोगों को काम करने में शर्म मालूम
मंदिर ही समाधान है?
शशिकांत गुप्ते सभी आस्थावान लोगों को प्रणाम।रामजन्म भूमि आंदोलन में सक्रिय भूमिका निभाने वालों को भी प्रणाम। इस आंदोलन के दौरान जो स्वाभाविक रूप से हिंसा भड़की थी, क्षमा करना
सह अस्तित्व और जीवन मूल्यों का मर्मस्पर्शी लोकपर्व: बहुला चौथ
जयराम शुक्ल लोकपर्व और व्रत कथाएं सनातन से चली आ रही उदात्त संस्कृति के साक्षात् दर्शन हैं। उसमें निहित संदेश समाज को संजीवनी शक्ति देते हैं। इस समाज में सिर्फ़
जीआई टैग : उस बासमती में मस्ती होगी, इस बासमती में नर्मदा की ठसक है
अजय बोकिल ये कोई डेढ़ चावल की खीर पकाने की बात नहीं है, बल्कि अब बासमती चावल की वजह से दो राज्यों के मुख्यमंत्रियों में ठन गई है और मामला
सुषमा स्वराज को शत शत नमन, सच सुनने का साहस और सलीका चाहिए!
पुण्यस्मरण/जयराम शुक्ल सच सुनने का साहस जुजबी ही होता है। पश्चिम बंगाल में किसी ने कार्टून बनाया ममता दीदी ने उसे जेल भेज दिया। पर इस दौर में अपने ही