कुंडली में मंगल दोष हो तो सभी लोग हैरान हो जाते हैं। क्योंकि यदि मंगल दोष होता है तो शादी व्याह में काफी प्रभाव पड़ता है। दरअसल, मंगल जब कुंडली के लग्न, चतुर्थ, सप्तम, अष्टम अथवा द्वादश भाव में हो तो कुंडली में मंगल दोष होता है। अगर ये दोष आपकी कुंडली में है तो आपको भी इसकी वजह से विवाह के मामले में सावधानी रखनी चाहिए। बता दे, मंगल दोष में लग्न और अष्टम भाव का दोष ज्यादा गंभीर होता है।
इसलिए ऐसा कहा जाता है कि मांगलिक का शनि के साथ विवाह हो सकता है। लेकिन ऐसा कहा जाता है कि मंगल दोष केवल एक ही पक्षकार की कुंडली में है तो दूसरे पक्षकार से तालमेल काफी खराब हो जाता है। मान्यता है कि एक व्यक्ति मंगली हो और दूसरा न हो तो दूसरे की मृत्यु तक हो सकती है। ऐसा अपने भी बड़ों से सुना होगा। अगर मंगल की मंगल से शादी ना हो तो पति पत्नी के बीच में हिंसा हो सकती है। कहा जाता है कि जिसकी कुंडली में में मंगल दोष न हो वो सदैव बीमार रहता है। साथ ही उन्हें शल्य चिकित्सा और दुर्घटनाओं का सामना करना पड़ सकता है।
इसका उपाय आपके लिए कितना सही है जाने –
आपको बता दे, मंगली व्यक्ति का विवाह घड़े, पेड़ या मूर्ति से कराया जाता है। लेकिन ये बिलकुल भी सही नहीं होता है क्योंकि इसका कोई लाभ नहीं होता है। मंगली व्यक्ति को मूंगा पहना दिया जाता है। लेकिन ये भी हर स्थिति में लाभ नहीं कर सकता है। वहीं इन सबके अलावा मंगली व्यक्ति के मंगल की शांति करा दी जाती है, जबकि अगर मंगल शुभ परिणाम वाला हुआ तो जीवन में समस्याएं बढ़ जाती हैं।
इसलिए इसके उपाय लाभकारी नहीं माने जाते हैं। ये सिर्फ मन की शांति के लिए कराए जाते हैं। इसके लिए सही उपाय सिर्फ ये है कि मंगल कुंडली में जिस तरह की समस्या दे रहा हो उसका समाधान करें। हर मामले में मंगल वैवाहिक जीवन ही खराब नहीं करता है। इसमें सबसे ज्यादा ध्यान स्वभाव का रखना चाहिए। साथ ही अपने खान पान की आदतों में बदलाव लाएं। साथ ही हनुमान जी की यथाशक्ति उपासना करें।