Numerology: अंक ज्योतिष से जानें मूलांक निकालने का तरीका, जानें क्या कहते हैं ये 3 नंबर

ज्योतिष शास्त्र हमें जीवन से जुड़े कई रहस्यों और उपायों की जानकारी देता है। चलिए आज मूलांक से उन बातों को जानते हैं जो आपको लोगों से अलग बनाती है।

Raj Rathore
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Numerology: अंक शास्त्र एक बहुत ही ताकतवर ज्योतिष विद्या है। जो हमें हमारे जीवन की जानकारी देती है। ज्योतिष शास्त्र में वैसे भी किसी भी व्यक्ति के बारे में जानने के कई तरह के साधन बताए गए हैं। अंक ज्योतिष भी इन्हीं में से एक विधि है, जो जन्मांक और मूलांक के आधार पर हमें सब कुछ बताती है।

हमने आपको अंक शास्त्र क्या है इस बारे में तो जानकारी दी है लेकिन आज हम आपको बताते हैं कि यह मूलांक के आधार पर काम करता है। यह मूलांक व्यक्ति की जन्मतिथि के अंकों के जरिए प्राप्त किए जाते हैं। इसका अर्थ यह है कि जिस तारीख को व्यक्ति का जन्म हुआ है। उसके जरिए आप उसके व्यक्तित्व, व्यवहार, करियर, आर्थिक स्थिति, चरित्र और भविष्य सभी की जानकारी जुटा सकते हैं। मूलांक कैसे ज्ञात होता है और क्या बताता है चलिए इस बारे में जान लेते हैं।

अंक शास्त्र (Numerology) में मूलांक

मूलांक व्यक्ति की जन्म तिथि के अंकों को जोड़कर निकाला जाता है। जो भी जन्म तिथि है उसके सभी अंकों को जब तक जोड़ा जाता है, जब तक एकल अंक का उत्तर प्राप्त नहीं होता। जो एकल अंक अंत में आया है वही मूलांक होता है। यह नंबर एक से नौ के बीच होते हैं जो 9 ग्रहों से संबंध रखते हैं। चलिए आज मूलांक 1, 2 और 3 के बारे में जान लेते हैं।

मूलांक 1

मूलांक 1 यानी कि नंबर वन का संबंध सूर्य ग्रह से होता है। इन लोगों के स्वभाव की बात करें तो यह काफी ऊर्जावान होते हैं। जिस तरह से सूर्य नेतृत्व करता है इस तरह से इन लोगों की लीडरशिप क्वालिटी भी कमाल की होती है। कभी-कभी यह थोड़ा गुस्सैल हो जाते हैं। अपने सपनों को पूरा करने के लिए यह खूब मेहनत करते हैं। यह अपनी पर्सनैलिटी से अक्सर लोगों को आकर्षित करते हैं।

मूलांक 2

नंबर दो का संबंध चंद्रमा से बताया गया है। चंद्रमा के शांत और शीतल स्वभाव की तरह इन लोगों का व्यक्तित्व भी काफी कोमल होता है। ये मानसिक रूप से बहुत मजबूत होते हैं। यह कोई भी काम बहुत सोच समझ कर करते हैं। इनके अंदर भावनाओं का प्रवाह ज्यादा होता है और यह रिश्तों को बहुत महत्व देते हैं। यह स्वभाव से काफी कोमल होते हैं इसलिए छोटी-छोटी बातें इन्हें दिल पर लग जाती है।

मूलांक 3

नंबर तीन का संबंध अंक शास्त्र में देवगुरु बृहस्पति से माना गया है। यह लोग महत्वाकांक्षाओं से भरे होते हैं। यह आत्मनिर्भर होते हैं और अपने निर्णय स्वयं लेना पसंद करते हैं। यह हमेशा खुश रहते हैं और आसपास का माहौल भी खुशनुमा बना कर रखते हैं। बातचीत करने के मामले में इनका कोई जवाब नहीं। ये बातों ही बातों में लोगों को अपना बना लेते हैं।

Disclaimer: यहां दी गई सारी जानकारी केवल के सामान्य सूचना है। इसे अमल में लाने से पहले विशेषज्ञ की सलाह जरूर लें। किसी भी सूचना के सत्य और सटीक होने का दावा Ghamasan.com नहीं करता।