आपकी कुंडली में कौन सा रत्न है शुभ? ग्रहों के अनुसार करें चयन, यहां दूर करें कंफ्यूजन

ज्योतिष शास्त्र के अनुसार, हर ग्रह के लिए एक विशेष रत्न निर्धारित है, जिसे धारण करने से ग्रहों के अशुभ प्रभाव कम होते हैं और जीवन में सकारात्मक ऊर्जा आती है। माणिक, मोती, मूंगा, पन्ना, पुखराज, हीरा, नीलम, गोमेद और लहसुनिया जैसे रत्न नवग्रहों से जुड़कर भाग्य को मजबूत बनाते हैं। इन्हें पहनने से आत्मविश्वास, मानसिक शांति, समृद्धि और निर्णय क्षमता में सुधार होता है।

swati
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आपकी कुंडली में कौन सा रत्न है शुभ? ग्रहों के अनुसार करें चयन, यहां दूर करें कंफ्यूजन

ज्योतिष शास्त्र में रत्नों को बेहद प्रभावशाली और शक्तिशाली साधन माना गया है। यह विश्वास किया जाता है कि हर व्यक्ति की कुंडली में नौ ग्रहों की स्थिति उसके जीवन पर गहरा प्रभाव डालती है। जब ये ग्रह कमजोर होते हैं या प्रतिकूल प्रभाव डालते हैं, तो रत्न उनके दोष को कम करने और शुभ फल प्राप्त करने का माध्यम बन सकते हैं।

रत्न शास्त्र के अनुसार, प्रत्येक ग्रह के लिए एक विशिष्ट रत्न निर्धारित किया गया है, जिसे धारण करने से संबंधित ग्रह की ऊर्जा को सकारात्मक रूप से जागृत किया जा सकता है।

सूर्य ग्रह के लिए माणिक (Ruby)

सूर्य आत्मबल, आत्मविश्वास और नेतृत्व का प्रतीक है। यदि कुंडली में सूर्य कमजोर हो या आत्मविश्वास की कमी महसूस हो रही हो, तो माणिक रत्न धारण करना लाभकारी होता है। इसे पहनने से व्यक्ति के व्यक्तित्व में चमक आती है और वह समाज में सम्मान प्राप्त करता है।

चंद्र ग्रह के लिए मोती (Pearl)

चंद्रमा मन और भावनाओं का प्रतिनिधित्व करता है। जिन लोगों के स्वभाव में चंचलता, बेचैनी या भावनात्मक अस्थिरता होती है, उनके लिए मोती अत्यंत उपयोगी होता है। इसे धारण करने से मानसिक शांति मिलती है और नींद की समस्या भी दूर होती है।

मंगल ग्रह के लिए मूंगा (Red Coral)

मंगल साहस, ऊर्जा और पराक्रम का प्रतीक है। यदि व्यक्ति में आत्मबल की कमी है या वह निर्णय लेने में हिचकिचाता है, तो मूंगा पहनना फायदेमंद हो सकता है। यह रत्न उत्साह और वीरता को बढ़ावा देता है।

बुध ग्रह के लिए पन्ना (Emerald)

बुद्धि, वाणी और तर्कशक्ति के कारक बुध ग्रह के लिए पन्ना श्रेष्ठ रत्न है। छात्रों, वक्ताओं, लेखकों और व्यापारियों के लिए यह रत्न बेहद उपयोगी है। इसे धारण करने से संवाद कौशल और स्मरण शक्ति में वृद्धि होती है।

गुरु ग्रह के लिए पुखराज (Yellow Sapphire)

गुरु यानी बृहस्पति ज्ञान, धर्म और समृद्धि के प्रतिनिधि हैं। पुखराज को धारण करने से ज्ञान, विवेक और भौतिक समृद्धि में वृद्धि होती है। यह रत्न विद्यार्थियों, शिक्षकों और आध्यात्मिक साधकों के लिए विशेष रूप से लाभकारी है।

शुक्र ग्रह के लिए हीरा (Diamond)

सौंदर्य, प्रेम और विलासिता के प्रतीक शुक्र के लिए हीरा सर्वोत्तम रत्न है। इसे पहनने से वैवाहिक जीवन में मधुरता आती है और आर्थिक स्थिति में सुधार होता है। यह आकर्षण और सौंदर्य में वृद्धि करता है।

शनि ग्रह के लिए नीलम (Blue Sapphire)

शनि को कर्मफलदाता माना जाता है। यदि शनि अशुभ स्थिति में हो तो जीवन में रुकावटें, संघर्ष और मानसिक तनाव बढ़ सकता है। नीलम धारण करने से अनुशासन, धैर्य और फोकस में वृद्धि होती है। यह रत्न बहुत शक्तिशाली होता है, इसलिए इसे धारण करने से पहले परिक्षण (ट्रायल) करना आवश्यक होता है।

राहु ग्रह के लिए गोमेद (Hessonite Garnet)

राहु एक छाया ग्रह है जो भ्रम, अचानक संकट और मानसिक बेचैनी उत्पन्न कर सकता है। गोमेद को धारण करने से नकारात्मक विचारों में कमी आती है और राहु से संबंधित समस्याएं दूर होती हैं।

केतु ग्रह के लिए लहसुनिया

केतु भी एक छाया ग्रह है जो आध्यात्मिकता, रहस्य और अचानक घटनाओं का कारक होता है। लहसुनिया धारण करने से आत्मज्ञान की ओर झुकाव बढ़ता है और केतु के कुप्रभावों से रक्षा होती है।

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