IND vs AUS : भारतीय क्रिकेट टीम के कप्तान रोहित शर्मा ने शनिवार को अपनी रिटायरमेंट को लेकर चल रही सभी अटकलों को समाप्त करते हुए स्पष्ट किया है कि वह सिडनी टेस्ट के बाद संन्यास नहीं ले रहे हैं। रोहित ने अपने भविष्य को लेकर भ्रम को साफ किया और कहा कि वह अभी क्रिकेट से अलविदा लेने का कोई इरादा नहीं रखते हैं।
रोहित ने खत्म की संन्यास की अटकलें
सिडनी टेस्ट के दूसरे दिन लंच ब्रेक के दौरान, रोहित शर्मा ने ब्रॉडकास्टर्स से बात करते हुए अपनी स्थिति स्पष्ट की। उन्होंने कहा, “मैं इस खेल से दूर नहीं जा रहा हूं, और न ही मैं संन्यास लेने जा रहा हूं।” उन्होंने यह भी कहा कि केवल खराब फॉर्म के कारण ही उन्होंने इस मैच में खेलने से मना किया था, लेकिन उनका रिटायरमेंट लेने का कोई इरादा नहीं है।
खराब फॉर्म के कारण लिया प्लेइंग इलेवन से बाहर रहने का फैसला
रोहित शर्मा ने इस बारे में और विस्तार से बताते हुए कहा कि उन्हें अपने प्रदर्शन में सुधार की उम्मीद है, लेकिन फिलहाल उन्हें लगता है कि वह इस टेस्ट मैच में अपनी टीम का हिस्सा नहीं बन सकते। “मैंने सिर्फ इस मैच के लिए प्लेइंग इलेवन से बाहर रहने का फैसला लिया क्योंकि मेरा बल्ला रन नहीं बना रहा था,” रोहित ने कहा।
उन्होंने यह भी जोड़ा कि, “मेरे लिए किसी भी मैच से बाहर होने का मतलब संन्यास नहीं होता। क्रिकेट एक ऐसा खेल है जहां हर दिन परिस्थितियां बदलती हैं। कोई भी खिलाड़ी किसी एक खराब फॉर्म के आधार पर अपनी भविष्यवाणी नहीं कर सकता।”
🚨 ROHIT SHARMA CONFIRMS HE IS NOT RETIRING ANYTIME SOON. 🚨
Rohit said, “runs are not coming now, but not guaranteed it’ll not come 5 months later. I’ll work hard”. pic.twitter.com/Hte8VT74kW
— Mufaddal Vohra (@mufaddal_vohra) January 4, 2025
मेलबर्न टेस्ट के बाद बढ़ी आलोचनाएं
रोहित शर्मा ने स्वीकार किया कि मेलबर्न टेस्ट के बाद उनके प्रदर्शन पर आलोचनाएं बढ़ी थीं। उनकी खराब फॉर्म को लेकर कई क्रिकेट विशेषज्ञों और फैंस ने उन्हें संन्यास लेने की सलाह दी थी। पिछले कुछ महीनों से उनकी बैटिंग फॉर्म संघर्षपूर्ण रही है, और उनकी बल्लेबाजी में निरंतरता की कमी देखी गई है। न्यूजीलैंड और बांग्लादेश के खिलाफ घरेलू टेस्ट सीरीज में भी उनका प्रदर्शन कुछ खास नहीं रहा था, जिससे उनकी जगह को लेकर सवाल उठने लगे थे।
सिलेक्टर्स और कोच से हुई चर्चा
रोहित शर्मा ने बताया कि उन्होंने सिलेक्टर्स और टीम के हेड कोच से इस विषय पर चर्चा की थी। “मुझे महसूस हुआ कि मेरे बल्ले से रन नहीं निकल रहे हैं, इसलिए मैंने खुद को इस मैच से बाहर रखने का निर्णय लिया,” उन्होंने कहा।
उनका यह बयान इस बात को स्पष्ट करता है कि उन्होंने खुद को टीम से बाहर रखने का निर्णय टीम और कोच से परामर्श करके लिया था, न कि किसी बाहरी दबाव के कारण। रोहित शर्मा ने यह भी कहा कि वह अपने करियर में कई उतार-चढ़ाव से गुजर चुके हैं, और एक खराब फॉर्म के आधार पर संन्यास लेने का सवाल नहीं उठता। उन्होंने यह भी जोड़ा कि “5-6 महीने बाद परिस्थितियां बदल सकती हैं। अगर आज आपका बल्ला साथ नहीं दे रहा, तो इसका मतलब यह नहीं कि भविष्य में भी वही स्थिति रहेगी।” उनके इस बयान से यह स्पष्ट होता है कि वे अपने खेल को लेकर आशावादी हैं और भविष्य में अच्छे प्रदर्शन के लिए तैयार हैं।