IIM Indore के छात्र आदित्य प्रताप सिंह चौहान ने प्रधानमंत्री राष्ट्रीय बाल पुरस्कार किया प्राप्त

Share on:

IIM Indore: आईआईएम इंदौर (IIM Indore) के आईपीएम प्रतिभागी, आदित्य प्रताप सिंह चौहान को अत्यधिक प्रतिष्ठित प्रधानमंत्री राष्ट्रीय बाल पुरस्कार 2023 से सम्मानित किया गया है। आदित्य भारत के माननीय राष्ट्रपति श्रीमती द्रौपदी मुर्मू जी द्वारा प्रदान किए गए इस प्रतिष्ठित पुरस्कार को प्राप्त करने वाले 11विद्यार्थियों में शामिल है। यह पुरस्कार उसे23 जनवरी 2023 को विज्ञान भवन में आयोजित भव्य समारोह दिया गया।

आदित्य को उसकी महत्वपूर्ण शोध परियोजना ‘माइक्रोपा: ए नॉवेल अप्रोच फॉर द डाई-बेस्ड डिटेक्शन एंड एल्गी-ड्रिवन फिल्ट्रेशन ऑफ माइक्रोप्लास्टिक्स इन ड्रिंकिंग वाटर’ के लिए ‘इनोवेशन कैटेगरी’ के तहत पुरस्कार मिला। पुरस्कार समारोह, 26 जनवरी तक चला, जिसने आदित्य को माननीय प्रधान मंत्री श्री नरेंद्र मोदी जी के साथ बातचीत करने का अवसर भी दिया।

Also Read: Budget 2023 : वित्त मंत्री Nirmala Sitharaman ने बजट में किए ये बड़े ऐलान, सिगरेट, सोना-चांदी हुए महंगे, जानिए क्या हुआ सस्ता

आईआईएम इंदौर (IIM Indore) के निदेशक प्रोफेसर हिमाँशु राय के मार्गदर्शन में संस्थानअपने प्रतिभागियों को प्रोत्साहित करने, प्रेरित करने और सलाह देने और उनके समग्र विकास में योगदान देने के लिए प्रतिबद्ध रहता है। प्रोफेसर राय ने कहा, “प्रतिष्ठित प्रधानमंत्री राष्ट्रीय बाल पुरस्कार 2023 प्राप्त करने के लिए हमें आदित्य पर बहुत गर्व है। वह हमारे सभी छात्रों के लिए एक सच्ची प्रेरणा हैं, जो अनुसंधान और नवाचार के क्षेत्र में योगदान देने के इच्छुक हैं।” आईआईएम इंदौर विद्यार्थियों के लिए सदा सर्वश्रेष्ठ पेशकश पर ध्यान केंद्रित करता है। पाठ्यक्रम इस तरह से तैयार किए गए हैं जो न केवल हमारे प्रतिभागियों को विषय को अच्छी तरह से समझने में मदद करते हैं बल्कि उन्हें वास्तविक जीवन में कक्षा के ज्ञान को लागू करने में भी सक्षम बनाते हैं।

आदित्य की इस महत्वपूर्ण उपलब्धि की यात्रा कक्षा 9 में शुरू हुई जब उसके प्रोजेक्ट की शुरुआत हुई। इसे विकसित होने में कुछ वर्षों का समय लगा और अंततः इसे आईआईएम इंदौर (IIM Indore) के आईपीएम कार्यक्रम के दौरान पूरा किया। “मैंने जो डिटेक्शन सिस्टम तैयार किया था, उसमें पानी के नमूने पर उपयोग करने के लिए एक जैव रासायनिक डाई शामिल है, जिसे बाद में एक कंप्यूटर विज़न बेस्ड एल्गोरिदम के माध्यम से पारित किया जाता है, जो पीने के पानी में मौजूद माइक्रोप्लास्टिक्स की संख्या की जानकारी दे सकता है। दूसरे चरण में, फ़िल्टर कार्ट्रिज फ़िल्टरिंग एजेंट के रूप में माइक्रोएलगी का उपयोग करता है। इस परियोजना की शुरुआत मेरी नौवीं कक्षा में हुई थी, और इसका विकास आईआईएम इंदौर के आईपीएम पाठ्यक्रम में मेरे प्रवेश तक चला,” आदित्य ने कहा।

“पुरस्कार समारोह का अनुभव अलौकिक था। मुझे माननीय राष्ट्रपति द्वारा 23 जनवरी को सम्मानित किया गया था, और मुझे श्रीमती स्मृति ईरानी जी के साथ बातचीत करने का अवसर मिला।मेरे द्वारा किए गए कार्यों पर चर्चा की गई। उसके बाद मीडिया से बातचीत की” आदित्य ने कहा। “मुझे माननीय प्रधान मंत्री के साथ बातचीत का भी मौका मिला, जिन्होंने मुझे अपना आशीर्वाद दिया।

Also Read: Budget 2023 Live Update : टैक्स में मिलेगी छूट या मिडिल क्लास पर बढ़ेगा और बोझ? जानिए क्या कहता है आम बजट

उन्होंने हमें अल्पकालिक लक्ष्य रखने और लंबे समय तक हासिल करने के लिए अलग-अलग योजनाएं बनाने की सलाह दी। उनके साथ बातचीत करना एक सम्मान की बात थी,” आदित्य ने कहा। “आईपीएम कार्यक्रम में नामांकन करने का मेरा निर्णय मेरे द्वारा लिया गया सबसे अच्छा निर्णय था क्योंकि इसने रिसर्च में मेरी रुचि को बढ़ाया। इस कोर्स ने मुझे कई क्षेत्रों से अवगत कराया है, जिससे मुझे और भी बेहतर निर्णय लेने में सक्षम बनाया है” आदित्य ने कहा।

आदित्य के प्रोजेक्ट ने 80 से अधिक देशों के प्रतिभागियों के साथ इंटरनेशनल जीनियस ओलंपियाड में रजत पदक भी जीता है। यह ISEF 2020 (हाई स्कूल के छात्रों के लिए दुनिया का सबसे महत्वपूर्ण STEM इनोवेशन फेयर) में टीम इंडिया का हिस्सा रहा है। आदित्य की सफलता कड़ी मेहनत, समर्पण और आईआईएम इंदौर के अटूट समर्थन का प्रमाण है। हम आदित्य को इस शानदार उपलब्धि पर हार्दिक बधाई देते हैं और भविष्य के प्रयासों के लिए शुभकामनाएं देते हैं।

Source : PR 

Also Read:  Adaa Khan ने लहंगे में बरपाया कहर, कातिलाना अदाओं से लूटी महफिल