आपने अक्सर चाय की दुकानों पर लोगों को प्लास्टिक की थैलियों में गर्म चाय भरवाते देखा होगा. खासकर ऑफिस जाने वाले, फैक्ट्री वर्कर और कॉलेज स्टूडेंट्स इसे सुविधाजनक मानते हैं. लेकिन क्या आप जानते हैं कि यही आदत धीरे-धीरे आपके शरीर में जहर घोल रही है? विशेषज्ञों के अनुसार, गर्म चाय को प्लास्टिक की थैली में डालना आपके लिवर और किडनी के लिए बेहद खतरनाक हो सकता है.
कैसे होती है शरीर में जहर की एंट्री?
जब प्लास्टिक की थैली में गर्म चाय डाली जाती है, तो थैली में मौजूद हानिकारक रसायन जैसे BPA (Bisphenol A) और फ्थेलेट्स (Phthalates) गर्मी के संपर्क में आकर चाय में घुलने लगते हैं. ये केमिकल्स शरीर में जाकर हॉर्मोनल असंतुलन, किडनी डैमेज, और लीवर टॉक्सिसिटी जैसी गंभीर समस्याएं पैदा कर सकते हैं.
डॉक्टर क्या कहते हैं?
गर्म पेय पदार्थों को कभी भी लो-क्वालिटी प्लास्टिक में नहीं रखना चाहिए, ये धीमे जहर की तरह काम करते हैं. लंबे समय तक ऐसा करने से लिवर और किडनी की कार्यक्षमता पर असर पड़ता है.
BPA और प्लास्टिक का सीधा कनेक्शन
BPA एक सिंथेटिक कंपाउंड है जो प्लास्टिक को मजबूत और टिकाऊ बनाता है. लेकिन यह एंडोक्राइन सिस्टम को प्रभावित करता है, जिससे थायरॉइड, फर्टिलिटी, और ब्लड प्रेशर पर असर पड़ सकता है.
क्या करें और क्या न करें?
स्टील या कांच के फ्लास्क में चाय भरवाएं, कप साथ लेकर जाएं और दोबारा इस्तेमाल करें. दुकानदारों को भी प्लास्टिक से परहेज के लिए प्रेरित करें.
क्या न करें: कभी भी प्लास्टिक थैली में गर्म चाय, कॉफी या सूप न भरवाएं, पतली प्लास्टिक पाउच या सिंगल यूज़ प्लास्टिक का उपयोग पूरी तरह बंद करें.