गणेशोत्सव सादगी से मनेगा , न बड़े पांडाल और न झांकियां निकलेगी .. शांति समिति की बैठक में भी नेताओं और अफसरों ने फरमान सुना दिया है कि त्यौहार घरों में ही मनाएं… बस महाराज की झांकी अवश्य जोर-शोर से इंदौर की सड़कों से गुजरेगी …500 स्वागत मंच भिया लोगों ने सड़कों की छाती पर ठोंक दिए है …झंडे/बैनर /पोस्टर की तो बाढ़ आ गई है ..आम जनता से निवेदन है कि अत्यंत जरूरी काम हो तो ही शहर के मध्य क्षेत्र में घुसने की जुर्रत करें वरना जाम में फंसने के साथ पुलिसिया बेइज्जती अलग होगी …जन आशीर्वाद यात्रा जैसे राजनीतिक आयोजनों से ही कोरोना इम्युनिटी बढ़ती है..
वरना हिल स्टेशनों से लेकर चोरल- मांडव या 56 दुकान पर थोड़ी भी भीड़ से कोरोना की तीसरी लहर का खतरा बढ़ जाता है और प्रधानमंत्री से लेकर हमारे मुख्यमंत्री चिंतित हो उठते हैं… शिवराज जी की चिंता का स्तर तो इतना मार्मिक होता है कि इंदौर में 5 कोरोना मरीज मिलने पर ही ट्वीट तक कर देते हैं…इधर मीडिया के लिए ये आयोजन चूंकि वैक्सीन रूपी विज्ञापन होते है इसलिए वो भी इतना लोड नहीं लेते कोरोना-फरोना का… कुल मिलाकर सारा कोरोना ज्ञान और उसके नाम पर होने वाली सख्ती जनता के माथे ही रहेगी…सरकार तो उस एक व्यक्ति को भी नहीं ढूंढ सकी जिसकी मौत ऑक्सीजन न मिलने से हुई …बाकी मुल्क में सब खैरियत है ..!