दूसरों से यदि अलग दिखना है तो खुद को साबित भी करना होगा। इसके लिए जरूरी है कि औरों से अलग कार्य करके दिखाया जाए। भीड़ के साथ चलकर केवल आप भीड़ का हिस्सा बन सकते हैं, लेकिन भीड़ को पार करते हुए आगे आने पर औरों के आदर्श बनने से आपको कोई नहीं रोक सकता। यह उदाहरण सबके सामने होम्योपैथी के क्षेत्र में डॉ. एके द्विवेदी ने पेश किया। 16 दिसंबर यानी आज वह अपने जन्मदिन पर स्वस्थ रहने के लिए लोगों को 24 मंत्र अपनाने की सलाह तो देंगे ही, साथ ही इस अवसर पर उन्होंने 2 दिवसीय निःशुल्क होम्योपैथिक चिकित्सा शिविर का आयोजन भी किया है। इस दौरान इंदौर एयरपोर्ट के डायरेक्टर अर्यमा सान्याल ने होम्योपैथिक दवा तथा मास्क का वितरण किया। साथ ही डॉ. संजय दीक्षित द्वारा भी किया गया।
वहीं डॉ. ए.के द्विवेदी ने सभी मरीजों का परीक्षण किया और होम्योपैथिक दवा प्रेस्क्राइब भी किया। आपको बता दे, मध्य प्रदेश के सुप्रसिद्ध होम्योपैथिक चिकित्सक और आयुष मंत्रालय भारत सरकार में सलाहकार बोर्ड के सदस्य डॉ ए के द्विवेदी ने कोरोना के समय में पूरी तरह से कोविड नियमों का पालन करते हुए अपने जन्मदिन पर कोई पार्टी नहीं करते हुए पूरी तरह से समाज हित में कार्य करने का स्वं निर्णय लिया है। जिसके चलते उन्होंने 2 दिवसीय निःशुल्क होम्योपैथिक चिकित्सा शिविर का आयोजन किया। जिसमे उन्होंने लोगों को होम्योपैथिक दवा भी निःशुल्क प्रदान की। इस दौरान मुख्य अतिथि के रूप में अर्यमा सान्याल जी डायरेक्टर इंदौर एयरपोर्ट ने अपने मुख्य अतिथीय सम्बोधन में कहा की लोगों की यह ग़लतफ़हमी है की एलोपैथी दवा जल्दी और होम्योपैथी दवा धीमे असर करती है।
आपने अपने अनुभव बताते हुए कहा कि जो सर्दी जुकाम एलोपैथी दवा से ७-८ दिन में ठीक नहीं होती है। होम्योपैथी दवा से मात्र 2-3 दिन में ठीक हो जाती है और किसी भी प्रक्रार की कमजोरी या सुस्ती भी नहीं लगती जबकि एंटी एलर्जिक दवा खाने से सुस्ती और दिन भर भारीपन लगता है कफ सूख जाता है। आपने जीभ की जलन एसिडिटी तथा डैंड्रफ एवं त्वचा रोगों में होम्योपैथिक इलाज को सबसे बेह्तर इलाज बताया है। डॉ संजय दीक्षित डीन एम जी एम मेडिकल कॉलेज ने कोविड मरीजों को दी जा रही होम्योपैथिक दवा के बारे में विस्तृत जानकारी हासिल किए तथा मरीज से चर्चा भी किये जिनको खांसी और कमजोरी में होम्योपैथिक इलाज से काफी जल्दी आराम मिला। डॉ ए.के द्विवेदी द्वारा समाज हित में किये जा रहे कार्यो की प्रशंसा भी की।
होम्योपैथिक मेडिसिन ब्रयोनिआ अल्बम तथा कार्बो वेज से ठीक हुए पोस्ट कोविड मरीज की सी टी रिपोर्ट भी देखी साथ ही ऐसा मरीज जिसका लंग 70 से 75 परसेंट तक ख़राब हो गया था। अस्पताल से डिस्चार्ज होने के बाद लगभग एक माह होम्योपैथिक दवा लिए और पूरी तरह स्वस्थ है। सी टी रिपोर्ट भी नार्मल आ गई। इन सबके अलावा दोनों अतिथियों ने वृक्षा रोपण भी किया और कहा की अपने जन्मदिन पर प्रकृति को हम पेड़ लगाकर अच्छा गिफ्ट दे सकते हैं। बता दे, कार्यक्रम की अध्यक्षता डॉ ए के द्विवेदी ने किया अतिथि स्वागत डॉ विवेक शर्मा तथा दीपक उपाध्याय ने किया। इसका सञ्चालन डॉ जीतेन्द्र पूरी ने किया। आभार डॉ ऋषभ जैन ने व्यक्त किया। होम्योपैथिक दवा राकेश यादव जीतेन्द्र तथा विनय पंडित द्वारा मरीजों के लिए तैयार की गई है। आज केवल ३० मरीज ही लिए गए बाकि का पंजीयन कल के लिए कर दिया गया। भीड़ नहीं इकट्ठा हो इस बात का पूरा ध्यान रखा गया।
डॉ ए के द्विवेदी ने अपने अध्यक्षीय उद्बोधन में कहा कि उनका प्रयास रहता है की मरीजों को उनकी बीमारी के बारे में सही जानकारी उपलब्ध कराये तथा बीमारी के बढ़ने एवं उसके डर से बचाएं। वहीं एक महिला मरीज जो कि पेट दर्द के लिए दिखाने आयी थी और डर रही थी की उसको कहीं कैंसर तो नहीं हो गया। पेट दर्द से मर तो नहीं जाएगी के बारे में बताते हुए कहा कि उस मरीज की माता जी को कई वर्ष पूर्व पेट के कैंसर से मर जाने के बाद हमेसा ऐसा डर लगने लगा की उसको भी कैंसर तो नहीं हो गया। जबकि उसको साधारण पेट दर्द ही था होम्योपैथिक इलाज से काफी राहत मिली है।