महाशिवरात्रि पर बनने जा रहा है शश और मालव्य राजयोग, इन 3 राशियों का होगा भाग्योदय, कारोबार में होगा मुनाफा

26 फरवरी को महाशिवरात्रि के दिन शश और मालव्य राजयोग का दुर्लभ संयोग बन रहा है, जिससे मिथुन, वृषभ और मकर राशि के जातकों को करियर, व्यापार और आर्थिक सफलता में बड़ा लाभ मिल सकता है।

Srashti Bisen
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Shasha and Malavya Rajyog : 26 फरवरी, बुधवार को महाशिवरात्रि के अवसर पर इस बार लगभग 100 साल बाद एक खास और दुर्लभ संयोग बन रहा है। इस दिन शश और मालव्य राजयोग का निर्माण हो रहा है। इन राजयोगों के प्रभाव से चार राशियों को करियर, व्यापार और नौकरी में बड़े लाभ हो सकते हैं।

शश राजयोग को पंचमहापुरुष योगों में से एक माना जाता है। जब शनि देव अपनी उच्च त्रिकोण राशि कुंभ में विराजमान होते हैं और लग्न या चंद्र भाव से केंद्र भाव में आते हैं, तो यह योग बनता है। शश राजयोग व्यक्ति को धन और शौहरत में वृद्धि दिलाने वाला माना जाता है। मालव्य राजयोग शुक्र ग्रह से संबंधित है। जब शुक्र अपनी उच्च राशि मीन में स्थित होता है और कुंडली के 1, 4, 7 या 10वें घर में विराजमान होता है, तो यह राजयोग बनता है। इस राजयोग के प्रभाव से जातक को जीवन में ऐश्वर्य और सुख-समृद्धि की प्राप्ति होती है।

राशियों पर प्रभाव

 मिथुन राशि (Gemini)

महाशिवरात्रि के शुभ संयोग से मिथुन राशि के जातकों को करियर और कारोबार में महत्वपूर्ण लाभ मिल सकता है। मीडिया, मार्केटिंग, और कम्युनिकेशन से जुड़े जातकों को विशेष लाभ होगा। मांगलिक कार्यक्रमों में शामिल होने का अवसर मिलेगा। लंबे समय से रुके काम पूरे हो सकते हैं, और अविवाहितों के लिए शादी के प्रस्ताव आ सकते हैं।

 वृषभ राशि (Taurus Horoscope)

इस संयोग के चलते वृषभ राशि के जातकों को करियर और व्यापार में तरक्की मिल सकती है। बेरोजगारों को नौकरी मिल सकती है और नौकरीपेशा को पदोन्नति और वेतनवृद्धि मिल सकती है। नया बिजनेस शुरू करने के लिए यह समय बेहद शुभ है।

मकर राशि (Capricorn)

शश और मालव्य राजयोग के प्रभाव से मकर राशि के जातकों के जीवन में सकारात्मक बदलाव आएगा। आर्थिक स्थिति में मजबूती आएगी, और अटका हुआ धन वापस मिलने की संभावना है। कार्यों में सफलता मिलेगी, और बेरोजगारों को नए रोजगार के अवसर मिलेंगे। धार्मिक यात्रा के दौरान भी लाभ प्राप्त हो सकता है।

शश और मालव्य राजयोग का प्रभाव

  • शश राजयोग: जब शनि देव लग्न या चंद्रमा से केंद्र भाव में होते हैं, और मकर, कुंभ या तुला राशि में विराजमान होते हैं, तो शश राजयोग बनता है। इससे धन, शौहरत और ऐश्वर्य में वृद्धि होती है। व्यक्ति को राजाओं जैसी जिंदगी का आनंद मिलता है।

  • मालव्य राजयोग: जब शुक्र अपनी उच्च राशि मीन में विराजमान होता है और कुंडली के केंद्र भाव में स्थित होता है, तो मालव्य राजयोग बनता है। यह राजयोग व्यक्ति को ऐश्वर्य और सुख-समृद्धि प्रदान करता है। हालांकि, यदि शुक्र पर सूर्य या गुरु की दृष्टि हो, तो इसके प्रभाव में कमी हो सकती है, क्योंकि ये ग्रह शुक्र के शत्रु माने जाते हैं।