अमरनाथ श्राइन बोर्ड ने बुधवार को अमरनाथ यात्रा 2025 की तिथियों की घोषणा कर दी है। जम्मू-कश्मीर स्थित पवित्र अमरनाथ गुफा की वार्षिक तीर्थयात्रा 3 जुलाई 2025 से प्रारंभ होकर 39 दिनों तक चलेगी और रक्षा बंधन के अवसर पर, 9 अगस्त 2025 को संपन्न होगी। यह निर्णय जम्मू-कश्मीर के उपराज्यपाल और श्राइन बोर्ड के अध्यक्ष मनोज सिन्हा की अध्यक्षता में हुई बैठक में लिया गया।
यात्रा की सफलता के लिए तैयारियों ने पकड़ी रफ्तार
तिथियों की घोषणा के बाद, अधिकारी अब अमरनाथ यात्रा 2025 की सुचारू व्यवस्था सुनिश्चित करने पर ध्यान केंद्रित कर रहे हैं। जल्द ही ऑनलाइन और ऑफलाइन दोनों माध्यमों से पंजीकरण प्रक्रिया शुरू होने की उम्मीद है। तीर्थयात्रियों की सुरक्षित और सुविधाजनक यात्रा के लिए सुरक्षा, चिकित्सा सेवाओं और रसद प्रबंधन को प्राथमिकता दी जा रही है, ताकि श्रद्धालु बिना किसी परेशानी के पवित्र गुफा के दर्शन कर सकें।

शिव भक्तों के लिए खास क्यों है अमरनाथ यात्रा?
अमरनाथ यात्रा हिंदू धर्म की सबसे पवित्र तीर्थयात्राओं में से एक मानी जाती है, जो देशभर से लाखों श्रद्धालुओं को अपनी ओर आकर्षित करती है। श्रद्धालु हिमालय के दुर्गम मार्गों को पार कर पवित्र अमरनाथ गुफा तक पहुंचते हैं, जहां प्राकृतिक रूप से बनने वाले बर्फ के शिवलिंग के दर्शन कर भगवान शिव का आशीर्वाद प्राप्त करते हैं।
कब और कैसे करें रजिस्ट्रेशन?
पिछले वर्ष अमरनाथ यात्रा के लिए पंजीकरण प्रक्रिया 17 अप्रैल 2024 से शुरू हुई थी। यह प्रक्रिया ऑनलाइन और ऑफलाइन दोनों माध्यमों से उपलब्ध थी। मनी कंट्रोल की रिपोर्ट के अनुसार, इस साल रजिस्ट्रेशन 15 मार्च से शुरू होने की संभावना है, यानी अब केवल 10 दिनों का इंतजार बचा है।
पहले आओ, पहले पाओ नियम लागू
सूत्रों के अनुसार, यात्रा परमिट पहले आओ, पहले पाओ के आधार पर जारी किए जा सकते हैं। जारी दिशानिर्देशों के अनुसार, 13 वर्ष से कम उम्र के बच्चों और 75 वर्ष से अधिक उम्र के वरिष्ठ नागरिकों को पंजीकरण की अनुमति नहीं होगी। सबसे महत्वपूर्ण बात यह है कि यात्रा शुरू करने से पहले सभी श्रद्धालुओं को अनिवार्य रूप से अपना हेल्थ सर्टिफिकेट प्रस्तुत करना होगा।