डायबिटीज के आधे से ज्यादा मरीज उच्च रक्तचाप का हो जाते हैं शिकार, जाने क्यों होता है ऐसा

Meghraj
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भारत में मधुमेह तेजी से एक गंभीर स्वास्थ्य समस्या बनता जा रहा है। हर साल मधुमेह के मामलों में चिंताजनक वृद्धि हो रही है। भारतीय आयुर्विज्ञान अनुसंधान परिषद (ICMR) के अनुसार, देश में मधुमेह के मरीजों की संख्या 10 करोड़ से अधिक हो चुकी है, और यह आंकड़ा लगातार बढ़ रहा है। इसके साथ ही, मधुमेह से पीड़ित 50-70 प्रतिशत लोग उच्च रक्तचाप (हाई बीपी) जैसी समस्याओं का भी सामना करते हैं। उच्च रक्तचाप न केवल दिल और किडनी की बीमारियों का कारण बनता है, बल्कि हार्ट अटैक और स्ट्रोक का खतरा भी बढ़ाता है। ऐसे में यह समझना बेहद जरूरी है कि डायबिटीज में उच्च रक्तचाप क्यों होता है और इसे रोकने के लिए क्या कदम उठाए जा सकते हैं।

मधुमेह और उच्च रक्तचाप का आपसी संबंध

डायबिटीज के मरीजों में अक्सर ब्लड शुगर लेवल असामान्य रूप से बढ़ा हुआ रहता है। अगर शुगर लेवल को नियंत्रित नहीं किया जाता, तो यह दिल, किडनी, आंखों, त्वचा और रक्तचाप पर नकारात्मक प्रभाव डालता है। मेडिकल जर्नल ‘द लांसेट’ के अनुसार, 50-70 प्रतिशत डायबिटीज मरीजों को उच्च रक्तचाप की समस्या हो जाती है। इस स्थिति में हार्ट अटैक और स्ट्रोक का खतरा काफी बढ़ जाता है।

डायबिटीज इंसुलिन प्रतिरोध का कारण बनता है, जिससे शरीर में शुगर और ब्लड प्रेशर को नियंत्रित करने की क्षमता कम हो जाती है। इसके अलावा, मधुमेह के मरीजों में वजन बढ़ना भी आम समस्या है, जो उच्च रक्तचाप का एक अन्य बड़ा कारण है।

डायबिटीज में हाई बीपी क्यों होता है?

1. इंसुलिन प्रतिरोध

डायबिटीज के रोगियों में इंसुलिन की कमी के कारण शरीर में शुगर का सही तरीके से उपयोग नहीं हो पाता। यह समस्या नसों और रक्तवाहिकाओं को प्रभावित करती है, जिससे रक्तचाप बढ़ सकता है।

2. वजन बढ़ना

मधुमेह के मरीजों का वजन अक्सर बढ़ जाता है, और मोटापा उच्च रक्तचाप के लिए जिम्मेदार होता है।

3. नसों को नुकसान

शरीर में शुगर का स्तर बढ़ने से नसों में सूजन और सिकुड़न होने लगती है। इससे रक्त का संचार बाधित होता है और रक्तचाप बढ़ने लगता है।

4. दिल और किडनी पर प्रभाव

उच्च रक्तचाप से दिल और किडनी पर अतिरिक्त दबाव पड़ता है, जो दिल के दौरे और किडनी फेल होने जैसी गंभीर समस्याओं का कारण बन सकता है।

डायबिटीज और हाई बीपी से बचने के उपाय

1. डायबिटीज को नियंत्रित करने के तरीके

  1. संतुलित आहार लें: जंक फूड और तैलीय भोजन से बचें।
  2. दैनिक व्यायाम करें: रोजाना कम से कम 30 मिनट का शारीरिक व्यायाम करें।
  3. वजन पर नियंत्रण रखें: मोटापा न बढ़ने दें।
  4. मिठाई और चीनी का सेवन कम करें: अतिरिक्त चीनी से बचें।
  5. तनाव से बचें: मानसिक तनाव डायबिटीज और हाई बीपी को बढ़ा सकता है।

2. उच्च रक्तचाप को नियंत्रित करने के तरीके

  1. हरी सब्जियां खाएं: अपने आहार में हरी पत्तेदार सब्जियों को शामिल करें।
  2. नमक का सेवन कम करें: अधिक नमक खाने से बचें।
  3. धूम्रपान और शराब से बचें: ये आदतें रक्तचाप को बढ़ाने में योगदान करती हैं।
  4. नियमित व्यायाम करें: योग और ध्यान से रक्तचाप को नियंत्रण में रखा जा सकता है।

मधुमेह और उच्च रक्तचाप से बचाव क्यों जरूरी है?

मधुमेह और उच्च रक्तचाप दोनों ही बीमारियां शरीर के विभिन्न अंगों को गंभीर रूप से प्रभावित करती हैं। यदि इनका समय रहते इलाज न किया जाए, तो यह हार्ट अटैक, स्ट्रोक और किडनी फेल जैसी घातक बीमारियों का कारण बन सकती हैं। इसलिए, जीवनशैली में सुधार और समय-समय पर डॉक्टर से परामर्श लेना बेहद जरूरी है।