इंदौर राजनीति में उस समय हलचल मच गई जब बीजेपी के नमामि नर्मदे विभाग के जिला संयोजक और विधायक रमेश मेंदोला के करीबी समर्थक जीतू चौधरी ने सोशल मीडिया पर चौंकाने वाली पोस्ट डाली। अपनी पोस्ट में उन्होंने लिखा था कि—“मेरे साथ अगर कोई दुर्घटना होती है तो इसकी जिम्मेदारी सिर्फ और सिर्फ विधायक रमेश मेंदोला की होगी।” चौधरी ने यहां तक कहा कि उन्हें मौत का डर नहीं है और न ही जेल की परवाह है। हालांकि, 24 घंटे भी नहीं बीते थे कि उन्होंने सभी पोस्ट डिलीट कर दिए और सफाई दी कि यह सब एक गलतफहमी और पारिवारिक गुस्से के चलते हुआ।
गरबा महोत्सव से जुड़ा विवाद
बीजेपी सूत्रों के अनुसार, विवाद की जड़ इंदौर-2 क्षेत्र के कनकेश्वरी ग्राउंड में होने वाले गरबा महोत्सव से जुड़ी हुई है। जीतू चौधरी का आरोप था कि आयोजन में प्रवेश के लिए लोगों से 100 से 500 रुपये तक वसूले जा रहे हैं और कुछ पास तो 1000 रुपये तक बेचे जा रहे हैं। उनका मानना था कि यह गरबा महोत्सव सभी वर्गों के लोगों के लिए निःशुल्क होना चाहिए। चौधरी का इशारा था कि इस वसूली के पीछे विधायक के करीबी लोग सक्रिय हैं। हालांकि, बाद में उन्होंने नई पोस्ट डालकर माहौल को शांत करने की कोशिश की और लिखा—“झुकना उतना ही जितना सही हो, बेवजह झुकना दूसरे के अहम को बढ़ावा देता है।”
मेंदोला के विरोध में पहले भी जताया गुस्सा
यह पहली बार नहीं है जब जीतू चौधरी ने अपने ही नेता रमेश मेंदोला के खिलाफ मोर्चा खोला हो। कुछ साल पहले भी उनका एक ऑडियो वायरल हुआ था, जिसमें वह कहते सुने गए थे—“मुझे रमेश मेंदोला मत समझना।” सूत्रों का कहना है कि उनकी नाराजगी की एक बड़ी वजह यह भी है कि साल 2022 के पार्षद चुनाव में उन्होंने टिकट मांगा था लेकिन विधायक ने उनकी कोई मदद नहीं की। यही कारण है कि अब चौधरी खुले तौर पर मेंदोला के खिलाफ बोल रहे हैं और सोशल मीडिया पर पोस्ट डालकर यह संकेत दे रहे हैं कि उनकी जान को खतरा है और उन्हें फंसाने की साजिश हो सकती है।
पार्षद टिकट न मिलने से बढ़ा गुस्सा
बीजेपी सूत्रों का दावा है कि जीतू चौधरी बीते दो निकाय चुनावों से वार्ड क्रमांक 20 से पार्षद का टिकट मांग रहे थे। पहली बार उन्होंने अपनी पत्नी के लिए टिकट चाहा और दूसरी बार अपनी बेटी के लिए। लेकिन दोनों ही मौकों पर रमेश मेंदोला ने उनकी सिफारिश नहीं की। 2022 के चुनाव में चौधरी ने पूरी तैयारी भी कर ली थी, लेकिन अंतिम समय में पार्टी ने टिकट कमला इंद्र बहादुर सिंह को दे दिया। नतीजा यह हुआ कि बीजेपी उम्मीदवार चुनाव हार गई और इस वार्ड में कांग्रेस ने जीत दर्ज कर ली। इसी से चौधरी की नाराजगी और भी गहरी हो गई।
गरबा मैदान भी चौधरी के कब्जे में
सूत्रों के मुताबिक, कनकेश्वरी ग्राउंड, जहां पर गरबा महोत्सव का आयोजन किया जा रहा है, वह मैदान जीतू चौधरी के नियंत्रण में है। जिस मैदान को चौधरी पिछले कई सालों से लोगों को निशुल्क उपयोग के लिए दे रहे थे, अब उस पर बदलाव किया गया है। हाल ही में चौधरी ने इस मैदान के चारों ओर तार फेंसिंग करा दी है।