Indore : जम्मू कश्मीर के पहलगाम आतंकी हमले में कई लोगों की जान चली गई है। पहलगाम आतंकी हमले में कुल 28 लोगों ने अपनी जान गवाई है। इस आतंकी हमले में मध्य प्रदेश के इंदौर के सुनील नथानियल की भी मौत हो गई है। सुनील नथानियल की अंतिम यात्रा बुधवार को भारी मन और नम आंखों से शुरू गई। इंदौर के बिना नगर स्थित उनके आवास से शुरू हुई अंतिम यात्रा इंदौर स्थित कब्रिस्तान के लिए रवाना हुई। जहां ईसाई रीति रिवाज के अनुसार उन्हें दफनाया गया है।
सुशील नथानियल के साथ उनके परिजन रिश्तेदार सहकर्मी पड़ोसी और समाज के विभिन्न तबके के लोग बड़ी संख्या में मौजूद थे और उनके पार्थिव शरीर को साथ दे रहे थे। इससे पहले नंदा नगर बर्च में विशेष प्रार्थना सभा का भी आयोजन किया गया था। सुशील के घर पर अंतिम यात्रा से पहले श्रद्धांजलि सभा आयोजित की गई थी। जिसमें पत्नी जेनिफर नथानियल ताबूत से लिपटकर फूटकर रो पड़ी।

4 दिन पहले परिवार के साथ कश्मीर घूमने गए थे
आतंकी हमले के शिकार हुए सुशील 4 दिन पहले परिवार के साथ कश्मीर घूमने गए थे। जहां उनकी पत्नी जेनिफर के अलावा बेटा ऑस्टिन गोल्डी और बेटी आकांक्षा भी थे। 22 अप्रैल के दोपहर 2:45 पर पहलगाम के वायसरण घाटी में अचानक आतंकियों ने पर्यटकों पर अंधाधीश फायरिंग शुरू कर दी। इस आतंकी हमले में कुल 28 लोगों की मौत हो गई है। जिसमें सुशील भी शामिल थे। वही हमले में उनकी बेटी आकांक्षा को भी पैर में गोली लगी।
सुशील के इस तरह जाने से उनके पिता की हालत बदहवास थी। इस घड़ी में मंत्री तुलसी सिलावट, विधायक रमेश मंडोला सहित कई राजनीतिक और सामाजिक लोग सुशील को श्रद्धांजलि देने पहुंचे थे। वहीं अंतिम यात्रा के समय सहकर्मियों में लगातार आक्रोश देखा जा रहा है और सभी एकजुट में आतंकियों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई की मांग कर रहे हैं। पुलवामा के बाद यह सबसे बड़ा आतंकी हमला है और सरकार से इसका माकूल जवाब देने की मांग भारत की हर जनता कर रही है।
बता दे कि सुशील अलीराजपुर स्थित एलआईसी की सैटेलाइट शाखा में पदस्थ हैं। पत्नी खातीपुरा के सरकारी स्कूल में शिक्षिका है। बेटी आकांक्षा सूरत में बैंक ऑफ़ बड़ौदा में फर्स्ट क्लास ऑफिसर है जबकि बेटा एक बैडमिंटन खिलाड़ी है। यह लोग मूल रूप से मध्य प्रदेश के जोबट के रहने वाले हैं।
भारत ने जबाबी कार्रवाई और सुरक्षा की दृष्टि से पांच बड़े फैसले
वही पहलगाम आतंकी हमले के बाद भारत ने जबाबी कार्रवाई और सुरक्षा की दृष्टि से पांच बड़े फैसले लिए हैं। जिनमें 65 साल पुराना सिंधु जल समझौता रोक दिया गया है। वही 48 घंटे के भीतर सभी पाकिस्तानियों को भारत छोड़ने के आदेश दिए गए हैं। पाकिस्तान में अपने दूतावास को बंद कर दिया गया है जबकि पाकिस्तानियों के वीजा पर भी आगामी आदेश तक रोक लगा दी गई है।