इंदौर के BJP नेता पर अश्लीलता का आरोप, सामाजिक मंच पर महिला के वेश में युवक संग किया डांस, वायरल हो रहा वीडियो

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By Abhishek SinghPublished On: October 31, 2025

‘सात समंदर पार मैं तेरे पीछे-पीछे आ गई…’ और ‘यम्मा-यम्मा…’ जैसे फिल्मी गीतों की तेज धुनों पर डीजे की रंगीन रोशनी चमक रही थी, जबकि मंच पर बीजेपी पिछड़ा वर्ग मोर्चा के प्रदेश उपाध्यक्ष नानूराम कुमावत थिरकते नजर आए। उनके साथ महिलाओं के परिधान में एक युवक भी नाचते हुए दिखाई दिया। यह दृश्य किसी निजी आयोजन का नहीं, बल्कि इंदौर में आयोजित एक सामाजिक कार्यक्रम का था।


जैसे ही यह वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल हुआ, बीजेपी नेता नानूराम कुमावत विवादों में घिर गए। उन पर समाज के मंच पर ‘अशोभनीय’ और ‘अश्लील’ प्रस्तुति देने के आरोप लगे हैं। समाज के एक बड़े तबके ने इस घटना को कुमावत समाज की मर्यादा और परंपराओं के खिलाफ बताते हुए कड़ा विरोध दर्ज कराया है।

अब समाज के भीतर यह मांग तेज हो गई है कि नानूराम कुमावत सार्वजनिक रूप से माफी मांगें, अन्यथा उनके खिलाफ आंदोलन किया जाएगा। वहीं, नानूराम कुमावत का कहना है कि यह पूरा मामला उनके विरुद्ध रची गई एक राजनीतिक साजिश का हिस्सा है।

महिला के वेश में युवक संग आपत्तिजनक डांस

कार्यक्रम के दौरान बीजेपी के वरिष्ठ नेता एवं पिछड़ा वर्ग मोर्चा के प्रदेश उपाध्यक्ष नानूराम कुमावत मंच पर नृत्य करने लगे। वीडियो में यह भी नजर आया कि उनके साथ महिलाओं के परिधान में एक युवक आपत्तिजनक अंदाज में डांस कर रहा था। मंच पर कुछ अन्य युवतियां भी नृत्य करती दिखाई दीं, जिन्हें बताया जा रहा है कि वे बाहर से बुलवाई गई थीं।

इस घटना पर सबसे तीखी प्रतिक्रिया राष्ट्रीय कुमावत महासभा के राष्ट्रीय उपाध्यक्ष नीरज कुमावत की ओर से आई है। उन्होंने कहा कि मंच पर नोट लहराने और डांसर के मुंह में नोट डालने जैसे दृश्य अत्यंत शर्मनाक थे। उन्होंने यह भी बताया कि पहली बार समाज का कार्यक्रम किसी रिसॉर्ट में आयोजित किया गया था, लेकिन ऐसी अनुचित प्रस्तुति ने पूरे आयोजन की गरिमा और उद्देश्य को धूमिल कर दिया।

दीपावली मिलन कार्यक्रम में हुआ विवादित डांस

पूरा मामला इंदौर के बिचौली मर्दाना स्थित एक प्रसिद्ध रिसॉर्ट का है, जहां 26 अक्टूबर को श्री राजस्थान कुमावत क्षत्रिय समाज, इंदौर (म.प्र.) द्वारा दीपावली मिलन एवं अन्नकूट महोत्सव का आयोजन किया गया था। इस कार्यक्रम का उद्देश्य समाज के सदस्यों को एक साथ लाना, आपसी एकजुटता बढ़ाना और त्योहारी उल्लास साझा करना था।

दिन के समय भजन-कीर्तन और सांस्कृतिक प्रस्तुतियों का आयोजन किया गया, जिसमें समाज के बड़ी संख्या में लोग अपने परिवारों सहित शामिल हुए। हालांकि, शाम होते-होते कार्यक्रम का माहौल बदल गया। प्रत्यक्षदर्शियों के अनुसार, लोकगीतों की प्रस्तुति समाप्त होने के बाद मंच की जिम्मेदारी डीजे ने संभाली और तेज आवाज में फिल्मी गानों की धुनें गूंजने लगीं।