नशे का शौक है तो घर पर पीयो, नशा कर चौराहे पर झूमने से क्या मतलब – कैलाश विजयवर्गीय

Deepak Meena
Published:
नशे का शौक है तो घर पर पीयो, नशा कर चौराहे पर झूमने से क्या मतलब - कैलाश विजयवर्गीय

इंदौर : भारतीय जनता पार्टी के राष्ट्रीय महासचिव कैलाश विजयवर्गीय को जब से इंदौर विधानसभा एक से टिकट दिया गया है। इसके बाद से ही वे अपने बयान बाजी को लेकर चर्चाओं का विषय बने हुए हैं। आए दिन उनसे जुड़ी कोई ना कोई जानकारी सुर्खियों में बनी रहती है।

अब उन्होंने इंदौर नाइट कलर और नशे को लेकर बयान दिया है जो कि सुर्खियों में है। दरअसल, कैलाश विजयवर्गीय ने कहा कि नशे करने वालो के नए नाइट कल्चर का मैं विरोधी हुं। नशे का शौक जिन लोगों को है, वे घर में बैठकर नशा करे। इस दौरान उन्होंने कहा कि इंदौर में नाइट कलर की शुरुआत आज से नहीं 70 साल पहले हो चुकी है।

जिसका उदाहरण इंदौर का सराफा बाजार है। जहां लोग देर रात खाने के लिए दूर-दूर से आते हैं। विजयवर्गीय का बयान सामने आने के बाद अब विपक्ष ने उन्हें आड़े हाथों लिया है। प्रदेश कांग्रेस सचिव राकेश यादव का कहना है कि किसी भी तरह का नशा खराब होता है। चाहे वह बाहर किया जाए या घर पर।

विजयवर्गीय इस तरह के बयानों से लोगों को नशा करने के लिए प्रेरित कर रहे है। गौरतलब है कि, मध्यप्रदेश में 17 नवंबर को 230 विधानसभा सीटों पर चुनाव होना है।