मध्यप्रदेश के सरकारी कर्मचारियों के लिए बड़ी राहत की खबर सामने आई है। लंबे समय से चले आ रहे पुराने नियमों में बदलाव की तैयारी की जा रही है। अब कर्मचारियों को महंगे गिफ्ट मिलने पर सरकार को हर बार इसकी जानकारी देने की जरूरत नहीं पड़ेगी। यह बदलाव खासतौर पर कर्मचारियों की सुविधा और अनावश्यक कागजी प्रक्रिया को कम करने के लिए लाया जा रहा है।
सिविल सेवा आचरण नियम में बदलाव
दरअसल, यह बदलाव 60 साल पुराने सिविल सेवा आचरण नियमों में किया जा रहा है। वर्तमान में विवाह, जन्मदिन, धार्मिक अवसर या अंत्येष्टि जैसे खास मौके पर मिलने वाले गिफ्ट की जानकारी देना जरूरी होता है। नए नियम लागू होने के बाद यह प्रक्रिया आसान हो जाएगी। अब छोटे-मोटे गिफ्ट या वेतन के कुछ हिस्से के बराबर गिफ्ट पर कर्मचारियों को रिपोर्टिंग की बाध्यता नहीं होगी।
विभिन्न श्रेणियों के कर्मचारियों पर असर
फिलहाल नियम के अनुसार चतुर्थ श्रेणी कर्मचारियों को 250 रुपए, तृतीय श्रेणी कर्मचारियों को 700 रुपए और प्रथम श्रेणी अधिकारियों को 1500 रुपए तक का गिफ्ट मिलने पर जानकारी देनी होती है। नए बदलाव के बाद यह सीमा बढ़ सकती है और कर्मचारियों को गिफ्ट मिलने पर सरकारी रिपोर्टिंग से राहत मिलेगी। इससे कर्मचारियों का समय और मेहनत बचेगी।
सरकारी कर्मचारियों की सुविधा बढ़ेगी
इस बदलाव का सीधा फायदा यह होगा कि कर्मचारियों को छोटे-मोटे और महंगे गिफ्ट के लिए अलग-अलग फॉर्म भरने या रिपोर्टिंग करने की झंझट नहीं होगी। गिफ्ट का यह नया सिस्टम सीधे उनके वेतन से जुड़ सकता है या फिर निर्धारित सीमा तक गिफ्ट लेने की अनुमति दी जाएगी। इस तरह कर्मचारियों की सुविधा बढ़ेगी और सरकारी कामकाज में अनावश्यक कागजी प्रक्रिया खत्म होगी।
सरल और प्रभावी बदलाव
सरकार का उद्देश्य कर्मचारियों के लिए नियमों को सरल बनाना है। अब वेतन और गिफ्ट के बीच एक स्पष्ट और आसान प्रक्रिया रहेगी, जिससे कर्मचारी मानसिक रूप से भी राहत महसूस करेंगे। छोटे-मोटे अवसरों पर मिलने वाले उपहारों की चिंता अब कर्मचारियों को नहीं होगी। यह बदलाव सरकारी कर्मचारियों की रोजमर्रा की जिंदगी में आसान और सकारात्मक असर डाल सकता है।