मुख्यमंत्री विष्णु देव साय ने आज नवा रायपुर सेक्टर-24 में छत्तीसगढ़ स्टेट पावर कंपनीज के संयुक्त मुख्यालय भवन का शिलान्यास किया। रजत जयंती वर्ष और गणेशोत्सव जैसे पावन अवसर पर सम्पन्न इस समारोह में उन्होंने विधिवत पूजा-अर्चना की और भवन का थ्री-डी मॉडल अनावृत किया। मुख्यमंत्री ने कहा कि यह भवन अधिकारियों और कर्मचारियों की कार्यकुशलता को नई ऊँचाई देगा, तीनों पावर कंपनियों के बीच समन्वय को मजबूत करेगा और उपभोक्ताओं को एक ही छत के नीचे सभी सेवाएँ उपलब्ध कराएगा। उन्होंने इस अवसर पर एक पेड़ माँ के नाम अभियान के अंतर्गत मौलश्री पौधरोपण किया।
मुख्यमंत्री साय ने कहा कि छत्तीसगढ़ की 25 वर्षीय यात्रा यह प्रमाण है कि जब संकल्प और संवेदनशीलता साथ चलें तो परिणाम ऐतिहासिक होते हैं। वर्ष 2000 में प्रदेश केवल 1400 मेगावाट बिजली उत्पादन करता था, आज यह क्षमता बढ़कर 30 हजार मेगावाट हो गई है। प्रधानमंत्री श्री नरेंद्र मोदी द्वारा हाल ही में 1320 मेगावाट क्षमता के नए संयंत्र का शुभारंभ इस उपलब्धि को और सुदृढ़ करने वाला है। मुख्यमंत्री ने कहा कि छत्तीसगढ़ की यह प्रगति हर नागरिक के विश्वास, मेहनत और भागीदारी का परिणाम है।
उन्होंने कहा कि हाल ही में सम्पन्न उनकी जापान और दक्षिण कोरिया यात्रा ने यह अनुभव कराया कि छत्तीसगढ़ अब वैश्विक स्तर की अधोसंरचना और कार्यसंस्कृति की ओर तेजी से बढ़ रहा है। संयुक्त मुख्यालय भवन इस दिशा में एक महत्वपूर्ण पड़ाव है। उन्होंने अधिकारियों को निर्देश दिया कि भवन का निर्माण गुणवत्ता और समयबद्धता के साथ पूरा किया जाए, ताकि यह ऊर्जा क्षेत्र में छत्तीसगढ़ की नई पहचान बने।
मुख्यमंत्री ने बताया कि नई उद्योग नीति के अंतर्गत पावर सेक्टर में हाल ही में लगभग तीन लाख करोड़ रुपये के एमओयू हुए हैं। इसके परिणामस्वरूप आने वाले वर्षों में 30 हजार मेगावाट अतिरिक्त बिजली उत्पादन संभव होगा। उन्होंने कहा कि यह उपलब्धि न केवल प्रदेशवासियों को 24 घंटे निर्बाध बिजली उपलब्ध कराएगी बल्कि पड़ोसी राज्यों की ज़रूरतें भी पूरी करेगी। उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री श्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व में लागू पीएम सूर्य घर मुफ्त बिजली योजना ने छत्तीसगढ़ को मुफ्त बिजली की ओर तेजी से अग्रसर कर दिया है और अब दूरस्थ अंचलों तक इस योजना का लाभ पहुँच रहा है।
वन मंत्री श्री केदार कश्यप ने इस अवसर पर भारत रत्न श्री अटल बिहारी वाजपेयी को राज्य निर्माण में उनके योगदान के लिए नमन किया। उन्होंने कहा कि लगभग 270 करोड़ रुपये की लागत से बनने वाला यह भवन ग्रीन एनर्जी आधारित होगा और आने वाली पीढ़ियों के लिए प्रेरणास्रोत सिद्ध होगा।