उत्तर प्रदेश में कन्नौज की इत्र कंपनी ओडोकेम इंडस्ट्रीज के मालिक और तथाकथित ‘धनकुबेर’ पीयूष जैन(Odochem Industries owner and so called ‘Dhankuber’ Piyush Jain) के ठिकानों पर हुई छापेमारी के बाद अफवाहों का बाजार भी गरमा गया था, और कहा जा रहा था कि पीयूष जैन द्वारा टेक्स देनदारी कुबूल(Tax liability accepted by Piyush Jain) किए जाने के बाद DGGI की स्वीकृति से जब्त धन से 52 करोड़ रुपये कर के बकाये के रूप में जमा करा दिए(approval of DGGI, Rs 52 crore was deposited as arrears of tax from the seized money) गए हैं।
लेकिन जीएसटी आसूचना महानिदेशालय(Directorate General of GST Intelligence DGGI) ने उत्तर प्रदेश के इस इत्र विनिर्माता के कानपुर और कन्नौज में जगहों पर फैले ठिकानों पर छापे को लेकर मीडिया की ऐसी खबरों का खंडन किया है कि उसने छापे में मिली नकदी को इत्र बनाने वाली इस इकाई के कारोबार का पैसा मान कर उसके अनुसार कार्रवाई करने का निर्णय लिया है।
केंद्रीय वित्त मंत्रालय के तहत काम करने वाली एजेंसी की तरफ से कहा गया हैं कि छापेमारी में पकड़ी पूरी राशि को ‘प्रकरण की सम्पत्ति’(property of the case) के रूप में भारतीय स्टेट बैंक की हिफाजत(protection of State Bank of India) में रखा गया है और उसमें से एक भी पैसे की कर देनदारी(Tax liability) नहीं निपटाई गयी है।