MP News : कमलनाथ से सवाल पूछने से पहले जरा अपने पद के बारे में जान ले – नरेंद्र सलूजा

Suruchi
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भोपाल : मध्य प्रदेश कांग्रेस कमेटी के अध्यक्ष के मीडिया समन्वयक नरेंद्र सलूजा ने प्रदेश के कृषि मंत्री कमल पटेल द्वारा कमलनाथ जी से पूछे 10 सवालों पर पलटवार करते हुए कहा कि बेहतर हो कृषि मंत्री चुनावी क्षेत्रों को छोड़कर और चुनाव की राजनीति छोड़कर पहले अपने पद के कर्तव्यों का निर्वहन करते हुए ,प्रदेश के उन किसान भाइयों की सुध ले ले ले ,जिनकी हाल ही की बारिश में फसलें खराब हो चुकी है ,जो मुआवज़े को लेकर सरकार की तरफ़ देख रहे है ,खाद व बिजली के संकट को लेकर सड़कों पर है ,कई-कई दिन की लंबी लाइन में लगे हैं ,पुलिस के लट्ठ खा रहे हैं ,सड़कों पर आकर प्रदर्शन कर रहे हैं।

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सलूजा ने कहा कि लगता है फैशन शो में रैंप पर कैटवॉक से मंत्री जी को फुर्सत मिल गई है लेकिन लगता है कि वो मंत्री से मुख्यमंत्री बनने के सपने देख रहे हैं इसलिए जल्दी में दिखाई दे रहे हैं। कमलनाथ जी से सवाल पूछने के पहले कृषि मंत्री खुद बता दें कि पिछले अपने 2 साल के कार्यकाल में कृषि मंत्री के रूप में वो अपनी एक भी उपलब्धि बता सकते हैं ? खाद के लिए आज किसान पिछले कई दिनो से सड़कों पर है ,पुलिस के लट्ठ खा रहा है , क्या एक दिन भी वे किसानों की सुध लेने गए हैं क्या ? प्रदेश में खाद की कालाबाज़ारी चरम पर है , भाजपा नेताओ के नाम रोज़ कालाबाज़ारी में सामने आ रहे है। कृषि मंत्री ने कालाबाज़ारी रोकने के लिये क्या कदम अभी तक उठाये है ? प्रदेश में हाल ही में आई बारिश से किसानों की खेतों की फसल व काट कर रखी फसल बर्बाद हो गई है।

क्या उन्होंने किसी भी प्रभावित क्षेत्र में जाकर किसानों से मिलने की जहमत उठाई है ? पूरे प्रदेश में अमानक और नकली बीज माफिया प्रदेश के किसानों को ठग रहा है और इन माफियाओं को खुद कृषि मंत्री का खुला संरक्षण प्राप्त है।क्या उन्होंने कभी भी किसी भी बीज माफिया व खाद माफिया पर कार्रवाई की हिम्मत दिखाई है ?क्या कारण है कि केंद्र सरकार की किसान कल्याण योजनाओं का पैसा प्रदेश में निरंतर लिप्स हो रहा है? मंत्री जी के परिजन किस प्रकार आजकल खेती-बाड़ी छोड़कर मंत्रालय की गलियों में अपने कल्याण में लगे हुए है , जरा मंत्री जी इस पर भी जवाब दे।

बेहतर हो कि कृषि मंत्री अपने पद के दायित्व का पहले ईमानदारी से निर्वहन करें , चुनावी क्षेत्र छोड़कर परेशान किसानो की सुध ले फिर कमलनाथ जी जैसे अपने से बड़े कद के व्यक्ति पर सवाल दागने का काम करें।कमलनाथ जी तो खुद शिवराज जी से रोज सवाल पूछ रहे हैं , शिवराज जी उसका जवाब नहीं दे रहे हैं। वो उन्हें उनके 17 वर्ष के और खुद के 15 महीने का हिसाब किताब सामने आकर मंच पर देने की खुली चुनौती दे रहे हैं। शिवराज जी चुनौती को स्वीकार नहीं कर रहे हैं।बेहतर हो कमल पटेल ,शिवराज जी को समझा कर इस चुनौती को स्वीकार करवाकर उनसे अपने कार्यकाल का हिसाब दिलवाये।