आई आई टी इंदौर की आई आई टी आई दृष्टि फाउंडेशन सी पी ऐस फाउंडेशन और डी एच एन द्वारा आयोजित हेल्थटेक इनोवेशन चैलेंज 2025 का समापन रविवार को भव्य डेमो डे के साथ हुआ। देशभर से आए अग्रणी डिजिटल हेल्थ स्टार्टअप्स के बीच कड़ी प्रतिस्पर्धा के बाद आइवरी (Ivory) ने विजेता तथा ‘बेस्ट हेल्थटेक स्टार्टअप 2025’ का खिताब अपने नाम किया।
क्योरबे टेक्नोलॉजीज़ (ओरलकेयर) प्रथम उपविजेता और प्लस91 टेक्नोलॉजीज़ द्वितीय उपविजेता घोषित किए गए।
इस साल का आयोजन डब्लू हेल्थ वेंचर्स, सी डी ए सी, आई क्रिएट और ए डब्लू ऐस के सहयोग से किया गया।
स्टार्टअप्स ने एआई आधारित जांच, डिजिटल हेल्थ रिकॉर्ड, दिमाग की सेहत, और ग्रामीण हेल्थकेयर जैसे क्षेत्रों में अपने समाधान प्रदर्शित किए।
महत्वपूर्ण बात यह है कि हेल्थटेक इनोवेशन चैलेंज 2025 को सरकार द्वारा आयोजित होने वाले इंडिया – ए आई समिट -2026 का प्री-समिट इवेंट भी घोषित किया गया है, जिससे इस कार्यक्रम की प्रतिष्ठा और बढ़ गई है।
डेमो डे में ये पाँच स्टार्टअप मंच पर उतरे
डेमो डे के दौरान पाँच इनोवेटिव स्टार्टअप्स को अपने उत्पाद और तकनीक दिखाने का मौका मिला:
1. आइवरी
इंटरेक्टिव डिजिटल टूल्स के माध्यम से दिमाग की सेहत की शुरुआती जांच करने वाली तकनीक।
2. प्लस 91
डिजिटल अस्पताल रिकॉर्ड और ABDM (राष्ट्रीय स्वास्थ्य मिशन) के अनुसार सुरक्षित डेटा सिस्टम प्रदान करने वाला प्लेटफ़ॉर्म।
3. हेयडॉक – एआई
एआई की मदद से पर्सनल हेल्थ रिकॉर्ड और वेलनेस से जुड़ी सेवाएँ उपलब्ध कराने वाली तकनीक।
4. ब्रेनसाइट – एआई
एआई की मदद से दिमाग से जुड़े रोगों की सटीक जांच करने वाला समाधान।
5. क्यूर बे टेक्नोलॉजीज
ग्रामीण क्षेत्रों में डॉक्टरों और मरीजों के बीच तकनीक आधारित हेल्थ नेटवर्क तैयार करने वाली कंपनी।
“भारत में हेल्थटेक तेजी से आगे बढ़ रहा है”—DHN
DHN (डी एच एन) और स्केल हेल्थ टैक के संस्थापक व सीईओ विश्नु सक्सेना ने कहा कि इस साल की प्रतियोगिता ने यह साबित किया है कि भारत में स्वास्थ्य सेवाओं को बेहतर बनाने के लिए नवाचार लगातार बढ़ रहे हैं।
उन्होंने कहा—
“इस साल के स्टार्टअप्स ने तकनीक और स्वास्थ्य के मिलकर काम करने की असली ताकत दिखाई है। इनका काम केवल मॉडल या टेस्ट तक सीमित नहीं है, बल्कि बड़े स्तर पर लागू किया जा सकता है।”
“ये स्टार्टअप असली भारतीय समस्याओं को हल करते हैं”—IITI Drishti CPS Foundation
IITI Drishti CPS Foundation के सीईओ आदित्य व्यास ने सभी प्रतिभागियों की प्रशंसा करते हुए कहा—
“हर स्टार्टअप ने भारतीय स्वास्थ्य तंत्र की किसी न किसी वास्तविक समस्या को लक्ष्य बनाकर समाधान विकसित किया है—जैसे ग्रामीण क्षेत्रों में इलाज की कमी, शुरुआती जांच की आवश्यकता और डिजिटल रिकॉर्ड की जरूरत।”
उन्होंने आगे कहा कि विजेता समाधान न सिर्फ तकनीकी तौर पर मजबूत है, बल्कि बड़े पैमाने पर लागू किए जाने योग्य भी है।
आइवरी को क्यों चुना गया विजेता?
आइवरी के संस्थापक इस्सैक जॉन ने दिमाग की सेहत की शुरुआती जांच के लिए एआई आधारित प्लेटफ़ॉर्म विकसित किया है।
यह तकनीक लोगों में याददाश्त, ध्यान और सोच से जुड़ी दिक्कतों को शुरुआत में ही पहचानने में मदद करती है—कई बार तब, जब लक्षण अभी स्पष्ट रूप से दिखने भी नहीं लगे होते।
यह प्लेटफ़ॉर्म लोगों को उनकी दिमागी सेहत को बेहतर रखने के लिए ब्रेन ट्रेनिंग और व्यक्तिगत सुझाव भी देता है।
भारत में जहां कॉग्निटिव समस्याएँ देर से पहचान में आती हैं, ऐसे में यह तकनीक समय पर जांच और इलाज में महत्वपूर्ण भूमिका निभा सकती है।









