एमपी में 10 हजार बच्चों की पढ़ाई पर आया संकट, प्राइवेट स्कूलों ने 1 अक्टूबर से पढ़ाई रोकने का लिया फैसला, जानें वजह

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By Raj RathorePublished On: September 23, 2025

मध्यप्रदेश के निजी स्कूलों में RTE के तहत पढ़ने वाले 10,000 बच्चों की पढ़ाई पर संकट मंडरा रहा है। निजी स्कूल संचालकों ने 1 अक्टूबर से इन बच्चों की पढ़ाई रोकने का फैसला लिया है। इसके पीछे की मुख्य वजह सरकार द्वारा पिछले तीन साल से लंबित फीस का भुगतान न होना है।

फीस विवाद और स्कूलों की आर्थिक स्थिति

निजी स्कूल एसोसिएशन के अध्यक्ष अजीत सिंह ने बताया कि सरकार द्वारा RTE के तहत हर साल नए बच्चों का दाखिला तो कराया जाता है, लेकिन उनकी फीस का भुगतान समय पर नहीं होता। पिछले तीन सालों से बकाया फीस न मिलने के कारण स्कूलों की आर्थिक स्थिति बेहद खराब हो गई है। शिक्षकों का वेतन और अन्य खर्च भी इसी फीस पर निर्भर करते हैं, जिससे स्कूलों का संचालन मुश्किल हो रहा है।

भोपाल में बच्चों की स्थिति

अकेले भोपाल शहर में लगभग 1200 निजी स्कूल हैं, जहाँ करीब 10,000 बच्चों को RTE के तहत प्रवेश मिला है। एसोसिएशन का कहना है कि अगर सरकार जल्द ही बकाया राशि का भुगतान नहीं करती है, तो इन सभी बच्चों की पढ़ाई सीधे तौर पर प्रभावित होगी।

राज्य शिक्षा केंद्र को अल्टीमेटम

निजी स्कूल एसोसिएशन ने राज्य शिक्षा केंद्र को इस संबंध में कई बार ज्ञापन और पत्र सौंपे, लेकिन अब तक कोई समाधान नहीं निकला है। इसी वजह से एसोसिएशन ने यह अंतिम चेतावनी दी है कि अगर 30 सितंबर तक बकाया फीस का भुगतान नहीं किया गया, तो वे RTE के तहत पढ़ रहे बच्चों की पढ़ाई जारी रखने में असमर्थ होंगे।