Dwidwadash Rajyog : गुरु का राशि परिवर्तन हो गया है। हर साल राशि परिवर्तन करते हुए गुरु कई ग्रह के साथ युति में आते हैं। एक राशि से आने में उन्हें 12 महीने का समय लगता है लेकिन इस साल गुरु दोगुनी तेजी से अपनी गति पूरी करेंगे। ऐसे में इस साल मिथुन के साथ-साथ कर्क राशि में भी वह गोचर करने वाले हैं।
इस समय गुरु मिथुन राशि में विराजमान है। मिथुन राशि में रहकर 24 मई को बुध के साथ सहयोग बनाएंगे। इसके साथ ही एक महत्वपूर्ण और मंगलकारी योग का निर्माण कर रहे हैं। गुरु मिथुन राशि में 24 मई को बुध के साथ सहयोग में आने के साथ द्विद्वादश योग का निर्माण करेंगे।

द्विद्वादश योग का निर्माण
यह योग कई राशियों के लिए लाभकारी साबित होने वाला है। 3 राशि के जातकों को सफलता मिलेगी। इसके साथ ही गुरु बुध से योग से बने द्विद्वादश योग से उनके जीवन में अनुकूल परिवर्तन देखे जाएंगे। ज्योतिष शास्त्र के मुताबिक बुध और गुरु 24 मई को 12:44 पर एक दूसरे से 30 डिग्री पर होंगे। जिसके साथ ही द्विद्वादश योग का निर्माण हो रहा है। बता दे कि यह योग तब निर्मित होता है। जब दो ग्रह एक दूसरे से 12वीं और दूसरे भाव में या फिर 30 डिग्री की दूरी पर है।
तीन राशियों को लाभ
जिन तीन राशियों को इसका लाभ मिलने वाला है। उसमें मेष के अलावा मिथुन और धनु राशि शामिल है।
मेष राशि के लिए समय अनुकूल साबित होगा। आलस को त्याग कर काम पर ध्यान देने की आवश्यकता है। समाज में मान प्रतिष्ठा बढ़ेगी। तेजी से व्यापार को स्थापित करने के लिए आगे बढ़ेंगे। आमदनी में बढ़ोतरी हो सकती है। पिता के साथ संबंध में सुधार आएगा। धार्मिक यात्रा कर सकते हैं। भाई बहन के साथ अच्छे संबंध बनेंगे।
मिथुन राशि के लिए समय शुभ समाचार लेकर आ सकता है। शिक्षा के मामले में सफलता मिलेगी। सामाजिक तौर पर उन्नति हो सकती है। व्यापार में भी लाभ मिलेगा ।परेशानी में कमी आ सकती है। स्वास्थ्य अच्छा रहेगा। विवाह के नए प्रस्ताव आ सकते हैं।
धनु राशि के लिए यह समय बेहद अनुकूल साबित होने वाला है। जीवनसाथी के साथ आ रही समस्या समाप्त होगी। व्यापार शुरू करना चाहते हैं तो समय अच्छा है। जमीन के मामले में सफलता मिलेगी। निर्णय लेने की क्षमता में बढ़ोतरी होगी। इसके साथ ही रिश्तेदार और ससुराल पक्ष से लाभ मिलेगा। व्यापार पर ध्यान देने की आवश्यकता है।
Note : यह आलेख सामान्य जानकारी पर आधारित है। हम इसकी पुष्टि नहीं करते हैं। किसी भी जानकारी के लिए अपने ज्योतिष आचार्य से संपर्क अवश्य करें।