इन्दौर: भारतीय जनता युवा मोर्चा क़ानूनी समिति प्रदेश सहसंयोजक एडवोकेट भूपेन्द्रसिंह कुशवाह ने बताया कि कोरोना महामारी के इस बुरे दौर में इंदौर शहर के प्रभारी मंत्री तुलसीराम सिलावट,भारतीय जनता पार्टी के समस्त विधायकगण एवं नगर अध्यक्ष गौरव रणदिवे के साथ पूरा भाजपा संगठन तन-मन-धन से स्वयं की जान की परवाह किये बिना संपूर्ण समर्पण से इंदौर शहरवासियों की सेवा में लगे हुये हैं।
इस विपरीत परिस्थिति में भी पूरे शहर का प्रत्येक नागरिक अपने निजी स्वार्थ से हटकर किसी तरह की अफ़वाह में ना पड़कर एकजुट होकर कोरोना से संघर्ष कर रहा है। ऐसे समय पर कांग्रेस के विधायक संजय शुक्ला द्वारा अपने निजी स्वार्थ हेतु मीडिया में वाहवाही और सुरखिया बटोरने के लिये मनगढ़ंत तरीके एवं बगैर किसी जांच व सबूत के कैबिनेट मंत्री तुलसीराम सिलावट एवं भाजपा की छवि धूमिल करने तथा शहर की जनता को भ्रमित कर, शहर की शांति भंग करने के उद्देश्य से मीडिया के सामने अत्यंत आपत्तिजनक एवं सरासर झूठे आरोप लगाये गये।
जिसमें मंत्री तुलसीराम सिलावट, उनके पुत्र नीतीश(चिंटू) सिलावट एवं समस्त भाजपा विधायकों एवं जनप्रतिनिधियों पर रेमडेसीवर इंजेक्शन की कालाबाज़ारी करने का घटिया आरोप लगाया गया है, जो कि शर्मनाक है। जबकि प्रशासन के द्वारा प्रतिदिन प्राप्त रेमेडिसिविर इंजेक्शन के आवंटन की पूरी डिटेल जानकारी सार्वजनिक कर दी जाती है, जिसमें उन अस्पतालों के नाम भी दिये जाते हैं, जिन्हें इंजेक्शन दिए गए हैं। उक्त सूची मीडिया को भी उपलब्ध रहती है। इसके बावजूद विधायक शुक्ला का इस तरह कालाबाजारी कहने का क्या मतलब है।
संकट की इस घड़ी में जब चौबीस घंटे सतत इंदौर की जनता की सेवा में लगे मंत्री सिलावट के बारे में शुक्ला के द्वारा बोला गया कि वे चूड़ी पहनकर घर पर बैठे हुये हैं।
विधायक शुक्ला द्वारा समाज को दूषित करने वाले इस अत्यंत घृणित एवं निन्दनीय कार्य से आहत होकर मंत्री सिलावट के पुत्र नीतीश(चिंटू)सिलावट द्वारा एडवोकेट हर्षवर्धन शर्मा एवं भूपेन्द्रसिंह कुशवाह के माध्यम से संजय शुक्ला को “पाँच करोड़” रुपये का मानहानि का नोटिस भेजकर माँग की है, कि शुक्ला अपने इस कुण्ठित कार्य के लिये तत्काल सार्वजनिक रूप से माफ़ी माँगे, अन्यथा उनके ख़िलाफ़ न्यायालयीन कार्यवाही की जायेगी।