रातों रात सोनू सूद ने लोगों को द‍िलाए हॉस्‍पिटल-बेड, कहा- रातों को जागना भी….

Ayushi
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साउथ इंडियन फिल्मों से अपने करियर क शुरुआत करने वाले एक्टर सोनू सूद ने आज बॉलीवुड फिल्म इंडस्ट्री में अपनी एक तरफ़ा पहचान और लोगों के दिलो में अपनी जगह बना चुके हैं। जब कोरोना महामारी से देश के लोग लड़ रहे थे उस समय जरूरतमंद लोगो की मदद के लिए आगे आने वाले व्यक्ति सोनू ही थे। इस बार भी कोरोना की इस नई लहर में सोनू सूद लोगों की मदद करने के लिए आगे आ रहे है। वह लगातार लोगों की मदद कर रहे है। अभी इन दिनों सोनू सूद लोगों को ऑक्सीजन और बेड्स दिलवाने में लगातार जुटे हुए है क्योंकि देशभर में बेड्स और ऑक्सीजन की काफीज्यादा किल्लत हो गई है। जिसके चलते लोगों को परेशान होना पड़ रहा है।

आलम ये है कि बड़े-बड़े रसूखदार भी जरूरतमंद मरीजों को बि‍स्‍तर न द‍िला पाने का दर्द बयां करते द‍िख रहे हैं। ऐसे में एक्टर सोनू सूद घंटों घंटों मेहनत में जुटे हुए है। वह लोगों की जिंदगी बचने में लगे हुए है। अभी हाल ही में सोनू सूद ने आधी रात में कई पेशंट्स को मदद कर बेड द‍िलावाए और सोशल मीडिया पर इसकी जानकारी भी दी है। दरअसल, हैदराबाद से लेकर मथुरा तक और देहरादून से लेकर लखनऊ तक, सोनू अपनी एनजीओ के माध्‍यम से देशभर में मरीजों को ऑक्‍सीजन और अस्‍पतालों में बेड द‍िलाने की कोशिश कर रहे हैं।

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बताया जा रहा है कि हैदराबाद में एक 48 साल की मह‍िला को वेंटिलेटर और आईसीयू बेड की जरूरत थी। इसको लेकर सोनू ने ट्वीट कर कहा, न‍ियो केयर अस्‍पताल में बेड अरेंज हो गया है. कभी कभी आधी रात को जागे रहना भी अच्‍छा होता है। आप जल्‍द स्‍वस्‍थ्‍य हों। इसके अलावा देहरादून में 37 साल की सबा हुसैन को भी सोनू की मदद से ऑक्‍सीजन बेड म‍िल पाया है। मथुरा में 2 बच्‍चों के प‍िता को बेड की जरूरत थी।

एक व्‍यक्ति ने ल‍िखा, कुपया मथुरा में कोई हो तो आगे आए बच्‍चों को बचा ले अनाथ होने से। सोनू ने इस आदमी की कदद करते हुए ल‍िखा, मथुरा में अस्‍पताल बेड का इंतजाम हो गया है। कोई अनाथ नहीं होगा। जल्‍दी म‍िलते हैं आपके ठीक होते ही। गौरतलब है कि रविवार के दिन हुए डांस रियलिटी शो में नजर आए सोनू सूद ने अपनी मदद की कहानी बताते मैं यहां एक्‍टर बनने आया था, हमें बड़ी खुशी होती है कि हमारी फिल्‍में 100 करोड़ कमा रही हैं या ऐसा कुछ लेकिन जब से मैंने लोगों की मदद का ये काम क‍िया है यकीन मान‍िए ये वो सारी खुशी बेमानी और झूठी लगती है। मैं ऐसे सभी युवाओं से कहूंगा कि असली खुशी क‍िसी की मदद कर के मि‍लती है।