नीति आयोग की 9वीं गवर्निंग काउंसिल की बैठक दिल्ली में चल रही है. बैठक की अध्यक्षता पीएम मोदी कर रहे हैं. नीति आयोग की इस बैठक में गुजरात राज्य के मुख्यमंत्री मौजूद हैं. भारत अघाड़ी ने इस बैठक का बहिष्कार किया है. बैठक में कुछ गैर-बीजेपी शासित राज्यों के मुख्यमंत्री शामिल नहीं हुए. उन्होंने बजट में भेदभाव का आरोप लगाते हुए बैठक से दूर रहने का फैसला किया. बैठक में पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी मौजूद रहीं. बैठक में झारखंड के मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन और बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार शामिल नहीं हुए।
मीटिंग में क्या हुआ?
नीति आयोग की बैठक से ममता बनर्जी ने वॉकआउट कर दिया है. बाहर आने के बाद मीडिया से बात करते हुए उन्होंने आरोप लगाया, ”मुझे बोलने नहीं दिया गया. फंड मांगने के बाद मेरा माइक बंद कर दिया गया. मुझे बोलने के लिए सिर्फ 5 मिनट का समय दिया गया. उनका दावा है कि उन्होंने अन्य मुख्यमंत्रियों को बीस मिनट तक बोलने की इजाजत दी. केंद्र सरकार बंगाल के साथ भेदभाव कर रही है. गैर-एनडीए शासित राज्यों के खिलाफ भेदभाव”
बिहार के मंत्री नितिन नबीन ने कहा कि ”विकास के काम में राजनीति करना, ये कांग्रेस की शुरू से मानसिकता रही है. आज विकास कार्यों पर चर्चा के लिए बैठक है. नीति आयोग बीजेपी की संस्था नहीं है. जब नीति आयोग की बैठक होती है तो वह प्रत्येक राज्य के लिए विकास मॉडल तय करता है। कांग्रेस केवल तुष्टिकरण की राजनीति में रुचि रखती है।’ उनके पास कोई मुद्दा नहीं है. इसलिए वे अब नीति आयोग की बैठक का विरोध कर रहे हैं।”