Nautapa : मानसून (monsoon) शुरू होने से पहले एक समय ऐसा भी आता है जब सूर्य (Sun) के तेवर अपने चरम पर होते है। हिंदू धार्मिक मान्यताओं के अनुसार इस समय को नौतपा कहते हैं। दरअसल, इस बार ये नौतपा 25 मई से शुरू होकर 2 जून तक चलेगा। दरअसल, नौतपा 14 दिन तक रहता है। कहा जाता है कि आर्द्रा के 10 नक्षत्रों तक, जो सबसे अधिक गर्मी प्राप्त करता है उसके बाद ही उस नक्षत्र में सूर्य 15 दिनों तक रहता ऐसे में अच्छी बारिश होती है।
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हालांकि ऐसा नहीं है कि नौतपा में अधिक गर्मी ही हो। इसमें तेज हवा के साथ बवंडर और बारिश होने की भी संभावना रहती है। लेकिन अधिकतर इसमें सबसे ज्यादा गर्मी ही पड़ती है। क्योंकि नौतपा के दौरान सूर्य के तेवर अपने चरम पर रहते है। जिस वजह से तेज गर्मी पड़ती है। इतना ही नहीं नौतपा के शुरुआती छह दिनों में गर्मी के साथ उमस भी होती।
इसलिए रहे सावधान –
नौतपा के चलते सूर्य की सीधी किरणें पृथ्वी पर पड़ती हैं। ऐसे में भीषण गर्मी देखने को मिल सकती है। ज्योतिषों का कहना है कि इस बार सूर्य की मौजूदा स्थिति अशुभ फल दे सकती है। सबसे ज्यादा वर्त्तमान ख़राब समय इस बार वृष राशि वालों के लिए रहेगा। इतना ही नहीं ग्रहों की स्थिति को देखते हुए देश के पूर्व, पश्चिम और दक्षिण में प्राकृतिक आपदाएं पैदा हो रही हैं। ऐसे में नौतपा के दौरान कुछ सावधानियां बरतनी बेहद जरुरी होती है। ज्योतिष ने बताया कि मांगलिक यात्रा में विशेष सावधानी रखनी चाहिए।
इस वजह से होता है नौतपा –
गौरतलब है कि नौतपा का वर्णन श्रीमद्भागवत में भी किया गया है। जब से ज्योतिष की रचना हुई तबसे ही नौतपा भी चला आ रहा है। दरअसल, सूर्य जब रोहिणी नक्षत्र में होकर वृषभ राशि के 10 से 20 अंश तक रहते हैं तब नौतपा होता है। इस नक्षत्र में सूर्य करीब 14 दिनों तक रहते हैं। लेकिन शुरुआती 9 दिनों में काफी गर्मी होती है। इसी वजह है से इन दिनों को नौतपा कहते हैं। इसके चलते पृथ्वी पर तापमान बढ़ जाता है। ऐसे में ज्योतिषी ज्योतिष के आधार पर नौतपा में भविष्यवाणियां करते हैं और विज्ञान के आधार पर मौसम विभाग।