इंदौर : हनुमान जन्मोत्सव के अवसर पर, इंदौर के एक कलाकार देवल वर्मा ने स्कैप मेटल से हनुमानजी की एक भव्य प्रतिमा बनाई है। यह प्रतिमा 8.5 फीट ऊंची और 350 किलोग्राम वजन की है। इसे बनाने में एक साल का समय लगा।
देवल वर्मा पिछले 7-8 सालों से स्क्रैप मेटल आर्ट पर काम कर रहे हैं। गोधरा के एक क्लाइंट ने उन्हें हनुमानजी की प्रतिमा बनाने का आदेश दिया था। उन्होंने पीतल, स्टील, कारों के स्प्रिंग, गियर बियरिंग और अन्य स्क्रैप मेटल का उपयोग करके यह प्रतिमा बनाई है।
इस बारे में जानकारी देते हुए उन्होंने बताया कि हमने हनुमानजी को बनाने में बारीकी से काम किया। इसके लिए हनुमान चालीसा का अनुसरण किया। उनके जनेऊ, कुंडल किस तरह हो सकते हैं, उस पर गहराई से काम किया। उनका चौड़ा सीना, बलिष्ट शरीर कैसे बने इस पर विचार किया।
पहले इसे पेंडेट पर उकेरा और फिर उसकी डिटेलिंग की गई है। प्रतिमा बनाने में सबसे बड़ी चुनौती उनके चेहरे की सरलता, शांतता, कोमलता और सौम्यता बनाए रखना सबसे बड़ी चुनौती थी। इस प्रतिमा को बनाते समय सबसे बड़ी चुनौती हनुमानजी के चेहरे पर भाव लाना था, क्योंकि, स्क्रैप सामग्री से कुछ बनाना और उसके चेहरे पर भाव लाना सबसे चुनौतीपूर्ण काम है।
वहीं हनुमानजी की दाढ़ी में स्टेनलेस स्टील के तार लगे हैं। गदा पीतल के हुण्डा से बनी होती है। मुकुट पर लोटा है। नीचे पीतल के गिलास हैं। मुकुट के पीछे सिलाई मशीन का पहिया है। प्रतिमा बनाने के लिए स्टील, पीतल, माइल्ड स्टील का उपयोग किया गया है। आगे देवल ने बताया कि उनके अलावा टीम में चीफ मैकेनिकल इंजीनियर फैजान खान, चीफ वेल्डर राजेश झा और हेल्पर अर्जुन हैं। इसे इंदौर में ही स्टूडियो में तैयार किया गया है। अब इसे गोधरा बस स्टैंड के पास श्री सार्वत रेस्तरां में अगले महीने स्थापित किया जाएगा।