निस्वार्थ सेवा और कर्तव्यनिष्ठा की मिसाल है मंदसौर कलेक्टर

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By Rishabh JogiPublished On: April 30, 2021

इस कोरोना महामारी ने न जाने कितनो के अपनों को छीन लिया है, और अभी भी इसका कहर थमने का नाम नहीं ले रहा है, इस कठिन परिस्थिति में भी कई लोग बिना किसी स्वार्थ के लोगों को इस महामारी से बचाने में लगे हुए है, ऐसी ही कुछ मिसाल मंदसौर के कलेक्टर मनोज पुष्प ने कायम की है। बता दें कि कलेक्टर मनोज पुष्प की माताजी काफी लम्बे अरसे से बीमार चल रही थी और उनका निधन हो गया, लेकिन इस दौरान जब उनकी मां अंतिम सांसें ले रही थीं, उस समय उनके बेटे कलेक्टर मनोज स्थानीय रेस्ट हाउस में जनप्रतिनिधियों के साथ कोरोना संक्रमण की रोकथाम के लिए समीक्षा बैठक ले रहे थे।

इस कठिन परिस्थिति में जब उनकी मां अंतिम सांस ले रही थी और इस समय अपना काम कर रहे कलेक्टर मनोज पुष्प ने कहा कि – “वर्तमान की कठिन परिस्थितियों में व्यक्तिगत समस्याओं और गम को किनारे करना पड़ता है, क्योंकि अगर हम उसमें इन्वॉल्व हो गए तो जिले को बड़ा प्राइस पे करना पड़ सकता है, इतना ही नहीं आगे उन्होंने कहा कि 4-5 घंटे जरूर हमें अपनी व्यक्तिगत जिम्मेदारी निभानी पड़ी, लेकिन उसके बाद हम फिर से अपने काम में लग गए हैं।” कलेक्टर मनोज पुष्प के इस तरह जिले को कोरोना से बचाने के लिए हर सफल प्रयास कर रहे है।

आज कलेक्टर मनोज पुष्प के इस तरह जिले में कोरोना के विरुद्ध जंग में सभी चीजों को परे रख 16 से 18 घंटे लगातार काम कर रहे हैं, जिसका परिणाम यह है कि आज मंदसौर में स्थानीय स्तर पर ना कोरोना मरीजों के लिए बिस्तरों की कमी हुई है और न ही दूसरी तरह की दिक्क्तों का सामना करना पड़ा।