मध्य प्रदेश आएंगे केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्री जेपी नड्डा, प्रदेशवासियों को देंगे कई बड़ी सौगातें

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By Abhishek SinghPublished On: August 25, 2025

केंद्रीय स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण मंत्री जगत प्रकाश नड्डा 25 अगस्त को जबलपुर स्थित नेताजी सुभाष चंद्र बोस सांस्कृतिक सूचना केंद्र में मध्यप्रदेश की स्वास्थ्य सेवाओं को नई दिशा देने वाली महत्वपूर्ण पहलों का शुभारंभ करेंगे। इस अवसर पर मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव कार्यक्रम की अध्यक्षता करेंगे।


कार्यक्रम में श्योपुर और सिंगरौली में नवीन शासकीय चिकित्सा महाविद्यालयों का लोकार्पण किया जाएगा, जबकि धार, बैतूल, पन्ना और कटनी जिलों में पीपीपी मॉडल पर नए मेडिकल कॉलेज स्थापित करने के लिए अनुबंधों पर हस्ताक्षर होंगे। साथ ही वरिष्ठ नागरिकों के लिए ‘वय वंदना कार्ड’ वितरण, मातृ-शिशु सुरक्षा को मजबूत करने वाली योजनाओं का शुभारंभ और डिजिटल नवाचार के तहत स्मार्ट चैटबॉट की शुरुआत की जाएगी।

वय वंदना कार्ड का वितरण और चैटबॉट का शुभारंभ

कार्यक्रम में वरिष्ठ नागरिकों को 8 लाख वय वंदना कार्ड वितरित किए जाएंगे। तकनीकी सशक्तिकरण को बढ़ावा देते हुए ‘आयुष्मान’ और ‘सखी’ नामक स्मार्ट चैटबॉट की शुरुआत होगी, जो आमजन को स्वास्थ्य संबंधी जानकारी और परामर्श उपलब्ध कराने का सरल माध्यम बनेगा। साथ ही आशा कार्यकर्ताओं के साथ संवाद के माध्यम से स्वास्थ्य सेवाओं की जमीनी संरचना को और मजबूत किया जाएगा। मातृ एवं शिशु स्वास्थ्य की गुणवत्ता सुधारने के लिए मातृ-शिशु सुरक्षा कार्ड भी प्रदान किए जाएंगे।

धार, बैतूल, पन्ना और कटनी में पीपीपी मॉडल पर खुलेंगे मेडिकल कॉलेज

मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव के डेढ़ वर्ष के कार्यकाल में मध्यप्रदेश ने स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा के क्षेत्र में उल्लेखनीय प्रगति की है। इस अवधि में प्रदेश में 15 नए मेडिकल कॉलेजों की स्थापना की दिशा में ठोस कदम उठाए गए हैं। सिवनी, नीमच और मंदसौर में मेडिकल कॉलेजों का लोकार्पण हो चुका है, जबकि 25 अगस्त को श्योपुर और सिंगरौली मेडिकल कॉलेजों का उद्घाटन किया जाएगा। इसके साथ ही उज्जैन, बुधनी, राजगढ़, मंडला, छतरपुर और दमोह में मेडिकल कॉलेजों का निर्माण कार्य तेजी से जारी है। वहीं धार, कटनी, बैतूल और पन्ना में मेडिकल कॉलेज पीपीपी मोड पर स्थापित किए जा रहे हैं। इन पहलों से चिकित्सा शिक्षा का अधोसंरचना अभूतपूर्व रूप से विस्तार पा रहा है, जिससे चिकित्सकीय जनशक्ति की उपलब्धता बढ़ेगी और प्रदेश की स्वास्थ्य सेवाएं और मजबूत होंगी।