भोलेनाथ की कृपा चाहते हैं? तो शिवलिंग स्थापना से पहले जान ले ये बातें, वरना नहीं मिलेगा पूजा का पूरा फल

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By Swati BisenPublished On: July 22, 2025
Sawan 2025

श्रावण मास शिवभक्तों के लिए बेहद महत्वपूर्ण होता है। यह समय होता है जब भक्ति भाव से ओतप्रोत श्रद्धालु शिवलिंग की स्थापना कर जलाभिषेक द्वारा शिव को प्रसन्न करने का प्रयास करते हैं। लेकिन क्या आप जानते हैं कि घर में शिवलिंग की स्थापना और पूजा से जुड़े कुछ धार्मिक नियम होते हैं, जिनका पालन अनिवार्य माना गया है? आइए जानते हैं क्या हैं ये जरूरी बातें।

शिवलिंग का आकार

यदि आप अपने घर में शिवलिंग स्थापित करना चाहते हैं, तो सबसे पहले आपको उसके आकार पर ध्यान देना होगा। शिव पुराण के अनुसार, घरेलू शिवलिंग का आकार अंगूठे से बड़ा नहीं होना चाहिए। इससे बड़े आकार के शिवलिंग को मंदिर निर्माण जैसे विशेष नियमों के तहत विधिपूर्वक स्थापित करना अनिवार्य होता है।

अभिषेक करते समय दिशा का रखें ध्यान

शिवलिंग पर जलाभिषेक करते समय उत्तर दिशा की ओर मुख करके पूजा करना शुभ माना जाता है। पूर्व या दक्षिण दिशा की ओर मुख करके पूजा करना शास्त्रों के अनुसार वर्जित या अशुभ माना जाता है। सही दिशा में बैठकर अभिषेक करने से पूजा का पूर्ण फल मिलता है।

शिवलिंग हमेशा रहना चाहिए जल से अभिषिक्त

अगर आपने घर में शिवलिंग स्थापित किया है, तो उसे कभी भी सूखा नहीं रहने देना चाहिए। शिवलिंग पर रोजाना जल चढ़ाना अनिवार्य माना गया है। इसके लिए शिवलिंग पर जलधारी लगाना आवश्यक होता है, जिससे जल निरंतर बना रहे और उसकी ऊर्जा संतुलित बनी रहे।

कौन-सा शिवलिंग घर के लिए उपयुक्त है?

घर में पूजा के लिए पारद शिवलिंग या नर्मदेश्वर शिवलिंग की स्थापना श्रेष्ठ मानी गई है। ये दोनों ही प्रकार के शिवलिंग शुद्ध, ऊर्जावान और पूज्य माने जाते हैं और गृहस्थ जीवन में सकारात्मक ऊर्जा लाने वाले होते हैं।

नित्य पूजा अनिवार्य है

शिवलिंग की स्थापना केवल एक बार की प्रक्रिया नहीं होती, बल्कि इसे नियमित पूजा की आवश्यकता होती है। प्रतिदिन शिवलिंग पर जल चढ़ाना, दीपक जलाना, बेलपत्र अर्पित करना और मंत्र जाप करना जरूरी होता है। नियमित पूजा से शिव की कृपा सदैव बनी रहती है।

इन धातुओं के बर्तन से न करें जलाभिषेक

शास्त्रों में वर्णन है कि स्टील या प्लास्टिक के बर्तनों से शिवलिंग पर जल चढ़ाना वर्जित है। तांबे या पीतल के बर्तनों का उपयोग ही पवित्र और शुद्ध माना जाता है। इससे जल में सकारात्मक ऊर्जा बनी रहती है और पूजा विधिपूर्वक होती है।

शिव परिवार की स्थापना भी जरूरी

यदि आप घर में शिवलिंग की स्थापना कर रहे हैं तो केवल शिवलिंग ही नहीं, भगवान गणेश, माता पार्वती और नंदी की मूर्तियाँ भी साथ में रखनी चाहिए। इससे पूजा पूर्ण मानी जाती है और घर में संपूर्ण शिव परिवार की उपस्थिति से वातावरण दिव्य और संतुलित रहता है।

शिव को कभी न चढ़ाएं तुलसी

ध्यान रहे कि तुलसी के पत्ते शिव पर अर्पित करना पूर्णतः निषेध है। ऐसा करना शास्त्रों के विरुद्ध माना गया है। इसकी बजाय बेलपत्र, धतूरा, अकवन जैसे पवित्र पत्तों का उपयोग करें, जो शिव को अति प्रिय हैं।

अभिषेक का जल व्यर्थ न जाने दें

शिवलिंग पर चढ़ाया गया जल पवित्र माना जाता है। इस जल को नाली या जमीन पर फेंकने की बजाय, गमलों में या पौधों में डालना शुभ होता है। इससे पवित्रता बनी रहती है और पर्यावरण के प्रति भी हमारी जिम्मेदारी पूरी होती है।


Disclaimer : यहां दी गई सारी जानकारी केवल सामान्य सूचना पर आधारित है। किसी भी सूचना के सत्य और सटीक होने का दावा Ghamasan.com नहीं करता।