BJP विधायक प्रियंका पेंची ने SP सोनी की CM से की शिकायत, लगाया मानसिक प्रताड़ना का गंभीर आरोप

चाचौड़ा विधायक प्रियंका पेंची ने पुलिसकर्मियों के तबादलों को लेकर SP अंकित सोनी पर मानसिक प्रताड़ना का आरोप लगाते हुए मुख्यमंत्री को शिकायत पत्र भेजा है।

Srashti Bisen
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गुना जिले की चाचौड़ा विधानसभा से भारतीय जनता पार्टी की विधायक प्रियंका पेंची और जिले के पुलिस अधीक्षक अंकित सोनी के बीच विवाद ने राजनीतिक हलकों में हलचल मचा दी है। हाल ही में सामने आए एक पत्र के अनुसार, विधायक ने मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव को 29 मई को एक शिकायत पत्र भेजा था, जिसमें उन्होंने पुलिसकर्मियों के तबादलों में अनदेखी और स्वयं को मानसिक रूप से प्रताड़ित किए जाने की बात कही है।

विवाद की जड़ 24 मई को जारी की गई पुलिस ट्रांसफर लिस्ट है, जिसमें चाचौड़ा विधानसभा क्षेत्र के तीन महत्वपूर्ण पुलिस अधिकारियों का तबादला किया गया था। चाचौड़ा थाना प्रभारी मछलू सिंह मंडेलिया को पुलिस लाइन भेजा गया, जबकि कुंभराज के टीआई नीरज राणा को बमोरी और मृगवास के एसआई पंकज सिंह कुशवाह को जामनेर थाने भेजा गया। सूत्रों के अनुसार, इन तबादलों से विधायक प्रियंका पेंची नाखुश थीं और उन्होंने ग्वालियर के आईजी तथा मुख्यमंत्री से फोन पर भी आपत्ति दर्ज कराई थी।

पत्र हुआ वायरल, विधायक ने दी सफाई

पत्र के सार्वजनिक होने के बाद विधायक प्रियंका पेंची ने कहा कि एक जनप्रतिनिधि के तौर पर अपनी बात रखना उनका अधिकार है। उन्होंने स्पष्ट किया कि उन्होंने संगठन और मुख्यमंत्री के समक्ष अपनी बात रख दी है और कोई व्यक्तिगत नाराजगी नहीं है। उन्होंने खुद को एक “छोटी कार्यकर्ता” बताते हुए कहा कि भाजपा एक परिवार की तरह है, जहां सभी मिलकर काम करते हैं।

विपक्ष पर लगाया राजनीति चमकाने का आरोप

विधायक पेंची ने विपक्ष पर आरोप लगाते हुए कहा कि यह पूरा मामला राजनीतिक रंग देने की कोशिश की जा रही है। उन्होंने कहा कि विपक्ष के लोग केवल आलोचना करते हैं, जबकि भाजपा कार्यकर्ता जमीनी स्तर पर जनता के हित में कार्य कर रहे हैं। उन्होंने यह भी कहा कि भाजपा हर कार्यकर्ता की बात सुनती है और उसका सम्मान करती है।

एसपी अंकित सोनी का जवाब : विधायक की मांग पर हुआ था ट्रांसफर

विवाद पर अपनी प्रतिक्रिया देते हुए एसपी अंकित सोनी ने कहा कि चाचौड़ा क्षेत्र में कुल पांच थाने हैं, जिनमें से केवल तीन में ही स्थानांतरण हुआ था। उन्होंने यह भी कहा कि चाचौड़ा टीआई का तबादला विधायक के कहने पर ही किया गया था। मृगवास में टीआई की नियुक्ति नहीं थी और कुंभराज टीआई का ट्रांसफर मौखिक रूप से निरस्त किया गया है।