Simhastha-2028 : मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने सिंहस्थ-2028 की तैयारियों को लेकर अधिकारियों के साथ बैठक की। बैठक में उन्होंने उज्जैन-इंदौर संभाग को धार्मिक-आध्यात्मिक सर्किट के रूप में विकसित करने का निर्देश दिया। इस सर्किट में पशुपतिनाथ मंदसौर, खंडवा स्थित दादा धूनी वाले, भादवामाता, नलखेड़ा, ओंकारेश्वर आदि तीर्थस्थलों को शामिल किया जाएगा।
मुख्यमंत्री ने कहा कि सिंहस्थ-2028 के लिए मेला क्षेत्र को सुव्यवस्थित रूप से विकसित किया जाए। क्षिप्रा नदी के घाटों का विस्तार किया जाए ताकि बड़ी संख्या में आने वाले श्रद्धालु सरलता से स्नान कर सकें। निजी वाहनों की संख्या बढ़ने के परिणामस्वरूप सड़क मार्ग से सिंहस्थ में आने वालों की संख्या बहुत अधिक होगी, अत: पर्याप्त पार्किंग व्यवस्था सुनिश्चित की जाए।
मुख्यमंत्री ने यह भी कहा कि पिछले सिंहस्थ में आए श्रद्धालुओं की संख्या के आधार पर आगामी सिंहस्थ में आगंतुकों की संख्या का अनुमान लगाकर उज्जैन पहुंचने वाले सभी मार्गों पर मूलभूत सुविधाओं सहित गेस्ट हाउस विकसित किए जाएं। उज्जैन शहर में बड़ी संख्या में बनें होटलों और धर्मशालाओं की व्यवस्था को भी सुदृढ़ किया जाए। इसके साथ ही उज्जैन से लगे ग्रामीण क्षेत्र में होमस्टे व्यवस्था को भी प्रोत्साहित किया जाए।
बता दें कि, साल 2028 में 27 मार्च से 27 मई तक सिंहस्थ महापर्व का आयोजन होगा। धर्म गुरुओं के मुताबिक 09 अप्रैल से 8 मई की अवधि में 03 शाही स्नान और 07 पर्व स्नान प्रस्तावित हैं। सिंहस्थ महापर्व में लगभग 14 करोड़ श्रद्धालुओं के आगमन का अनुमान है।