नई दिल्ली: विदेशों से आने वाले हवाई यात्रियों को अब अपने स्वास्थ्य का ध्यान स्वयं ही रखना होगा अर्थात सात दिनों तक उन्हें होम क्वारंटीन होने की जरूरत नहीं रहेगी। इसकी जगह यात्रियों को 14 दिनों तक अपने स्वास्थ्य की निगरानी रखना होगी और चिकित्सक की रिपोर्ट भी प्राप्त कर अपने पास रखना रहेगी।
कोरोना समय के कारण केन्द्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय ने अंतरराष्ट्रीय आगमन के लिए दिशा निर्देश जारी करते हुए हवाई यात्रियों को कम से कम सात दिनों तक होम क्वारंटीन होने के लिए कहा था लेकिन इसमें अब बदलाव कर दिया गया है।
यात्रियों को होगी सुविधा –
केन्द्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय के अधिकारियों का यह मानना है कि कोरोना की तीसरी पीक का असर बहुत कम हो गया है और हवाई यात्रियों के आवागमन पर भी तेजी दिखाई दे रही है। ऐसी स्थिति में विदेशों से आने वाले यात्रियों को परेशानी से निजात मिलेगी। हालांकि मंत्रालय ने यह भी कहा है कि कम से कम 14 दिनों तक ऐसे यात्रियों को अपने स्वास्थ्य पर नजर रखना होगी ताकि आगे कोई परेशानी न हो।
प्रतीक्षा करने की जरूरत भी नहीं –
केन्द्रीय स्वास्थ्य मंत्री मनसुख मंडविया का कहना है कि सरकार ने अपने इस फैसले को 14 फरवरी से लागू करने का निर्णय लिया है। इसका अर्थ यह है कि 14 फरवरी से विदेशो से आने वाले यात्री सात दिनों तक होम क्वारंटीन नहीं होंगे। इसके अलावा उन्होंने यह भी बताया है कि सरकार ने जोखिम वाले देशों व अन्य देशों से सीमांकन हटाने का भी फैसला लिया है। इसके चलते संबंधित हवाई यात्री को सैंपल देने और उसका परिणाम प्राप्त करने की भी प्रतीक्षा नहीं करना होगी।
अब ऐसा करना होगा –
14 फरवरी से अंतरराष्ट्रीय स्तर से आगमन करने वाले यात्रियों को सप्ताहभर के अगले दिन आरटीपीसीआर परीक्षण करने व उसे एयर सुविधा पोर्टल पर अपलोड करने की भी जरूरत नहीं रहेगी। इसी तरह सभी देशें के दो प्रतिशत अंतरराष्ट्रीय यात्रियों के आगमन पर ही रैंडम सैंपलिंग होगी और सैंपल जमा होने के तुरंत बाद ही यात्री एयर पोर्ट से बाहर जा सकेगा।